
BPL सूची से नाम कटते ही अमान्य होगा ये प्रमाण पत्र, नए सर्टिफिकेट को लेकर सरकार के ये निर्देश
हिमाचल में बीपीएल परिवारों की नई सूची बनकर इसी महीने तैयार हो जाएगी.

By ETV Bharat Himachal Pradesh Team
Published : October 4, 2025 at 7:41 AM IST
|Updated : October 4, 2025 at 11:04 AM IST
शिमला: हिमाचल में 15 अक्टूबर तक BPL परिवारों की नई सूची बनाने की प्रक्रिया पूरी हो जाएगी. ऐसे में गरीबी रेखा (BPL) सूची में शामिल परिवारों के लिए अहम जानकारी सामने आई है. अब जैसे ही किसी लाभार्थी का नाम BPL सूची से कटेगा, उसी वक्त ग्रामीण विकास विभाग की ओर से जारी BPL प्रमाण पत्र अमान्य हो जाएगा. यानी BPL प्रमाण पत्र केवल तब तक मान्य है, जब तक व्यक्ति का नाम गरीबी रेखा सूची में शामिल है. नाम कटने के बाद उस BPL प्रमाण पत्र के आधार पर किसी भी तरह की सरकारी योजना का लाभ लेना पूरी तरह गैर कानूनी होगा. विभाग की तरफ से छह महीने के लिए जारी किए गए BPL प्रमाण पत्र में पहले ही चेतावनी दी है कि जो भी व्यक्ति या परिवार सूची से नाम कटने के बाद बीपीएल प्रमाण पत्र का गलत इस्तेमाल करते पकड़ा जाता है, ऐसे लोगों के खिलाफ नियमानुसार सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी.
6 महीने के लिए जारी किए थे प्रमाणपत्र
हिमाचल में साल 2024-25 के लिए बीपीएल परिवारों के चयन की प्रक्रिया चल रही है. जिसके लिए नई BPL सूची का पुनः निरीक्षण की समयसीमा 1 अप्रैल से 15 अक्टूबर के मध्य किए जानी तय की गई है. ऐसे पहले से BPL सूची में शामिल परिवारों को सरकारी योजनाओं का लाभ मिलता रहे, इसके लिए प्रदेश सरकार के ग्रामीण विकास विभाग ने इन परिवारों को 6 महीने की अवधि के लिए BPL प्रमाण पत्र जारी किए हैं. ऐसे में 15 अक्टूबर तक BPL की नई सूची तैयार होते ही प्रमाण पत्र अमान्य हो जाएंगे. जिस पर ये परिवार फिर से सरकारी योजनाओं का लाभ नहीं ले सकेंगे. इस बारे में BPL प्रमाण पत्र में पहले ही ग्रामीण विकास विभाग की ओर से स्पष्ट निर्देश जारी किए गए हैं. वहीं, जिन परिवारों का फिर से सूची में चयन होना है, उन्हें दोबारा से प्रमाण पत्र जारी किया जाएगा. जिसके बाद ऐसे परिवार पहले की सरकारी योजनाओं का लाभ ले सकते हैं.
ये हैं सरकार के आदेश
ग्रामीण विकास विभाग की ओर से गरीब परिवारों को सरकारी योजनाओं को लाभ लेने के लिए BPL प्रमाण पत्र जारी किया जाता है. जिसके आधार पर ये परिवार सरकार की ओर से विभिन्न विभागों के जरिए मिलने वाली कल्याणकारी योजनाओं का लाभ उठाते हैं. प्रदेश में अब बीपीएल परिवारों की नई सूची तैयार होनी है. इस तरह से बहुत से अपात्र परिवारों के नाम सूची से हटाए जा सकते हैं. बहुत से परिवार फिर से सूची में शामिल हो सकते हैं. ऐसे में विभाग की ओर से छह महीने के लिए BPL प्रमाण पत्र जारी किया गया है. उसमें नोट दिया गया है कि किसी भी विभाग से किसी भी प्रकार के लाभ प्राप्त करने से पूर्व विभाग का यह दायित्व होगा कि जारी किए गए प्रमाण की ऑनलाइन पुष्टि कराएं कि वह परिवार बीपीएल सूची में दर्ज है कि नहीं. इसी तरह से विभाग ने स्पष्ट किया है कि प्रमाण पत्र जारी होने के 6 महीने के अंदर ग्राम सभा द्वारा बीपीएल सूची से आवेदक का नाम काटने पर इस प्रमाण पत्र की वैधता समाप्त हो जाएगी. इसके बाद अगर आवेदक बीपीएल प्रमाण पत्र का गलत इस्तेमाल करता है तो उसके खिलाफ नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी.

किस जिले के लिए कितना BPL कोटा तय ?
केंद्र सरकार ने हिमाचल के लिए बीपीएल (गरीबी रेखा से नीचे) परिवारों का कोटा तय कर दिया है. जिसके लिए वर्ष 2002-03 में 11,82,926 परिवारों का सर्वे किया था. जिसके बाद वर्ष 2006-07 में BPL हाउस होल्ड का 2,82,370 का टारगेट फिक्स किया था. जिले के हिसाब से आंकड़ों पर गौर करें तो बिलासपुर जिले के लिए 17,337 का कोटा तय किया गया है. इसी तरह से चंबा के लिए 46,393, हमीरपुर के लिए 19,514, कांगड़ा के लिए 63,250, कुल्लू के लिए 2824, किन्नौर के लिए 11,267, लाहौल स्पीति के लिए 2400, मंडी के लिए 41,339, शिमला के लिए 31,682, सिरमौर के लिए 13,695, सोलन के लिए 17,478 व ऊना जिले के लिए 15,191 BPL हाउस होल्ड का कोटा तय है.

हिमाचल में BPL परिवारों की संख्या
हिमाचल प्रदेश के लिए केंद्र से 2,82,370 का कोटा निर्धारित किया गया है. इसमें 30 जून 2024 के आंकड़े के मुताबिक 2,65,357 परिवार सूची में शामिल है. इसमें बिलासपुर जिले में 16,835 परिवार BPL सूची में शामिल है. वहीं, चंबा जिले में 46,393, हमीरपुर जिले में 17,113, कांगड़ा जिले में 57,674, कुल्लू जिले में 2278, किन्नौर जिले में 10,666, लाहौल स्पीति जिले में 1512, मंडी जिले में 40,329, शिमला जिले में 30,133, सिरमौर जिले में 12,624, सोलन जिले में 15,864 व ऊना जिले में BPL परिवारों की संख्या 13,936 है. प्रदेश में 15 अक्टूबर के बाद बीपीएल परिवारों की नई सूची जारी हो सकती है. ऐसे में आने वाले समय प्रदेशभर में BPL की संख्या का आंकड़ा बदलने वाला है.

