शिमला: हिमाचल में स्थापित होने वाले उद्योगों से न केवल निवेश बढ़ता है, बल्कि इससे प्रदेश के हजारों युवाओं के लिए रोजगार के भी द्वार खुलते हैं. जिससे प्रदेश की अर्थव्यवस्था में उद्योगों की अधिक भूमिका रहती है. ऐसे में आज सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने बजट के दौरान उद्योगों को आकर्षित करने के लिए बड़ी राहत देने का ऐलान किया है. इसके लिए नए वित्त वर्ष में प्रदेश की औद्योगिक नीति में बदलाव किए जाएंगे, जिसके लिए निवेशकों को सभी औपचारिकताओं को बहुत कम समय में पूरा किया जाएगा.
वहीं, निवेशकों को जरूरी क्लीयरेंस 2 महीने में दी जाएगी. इसी तरह से निवेशकों को फ्रेंडली एनवायरनमेंट बनाने में सरकार केवल इनेबलर का रोल निभाएंगी. इसी अलावा सरकार एक उच्च स्तरीय बोर्ड गठित करेगी, जो राज्य के औद्योगिक क्षेत्र से संबंधित सभी पहलुओं पर विचार करेगा. जिसके लिए नियमित रूप से बैठकें होंगी और सभी मुद्दों को सही तरीके से हल किया जाएगा.
ऐसे उद्योगों को 40 पैसे यूनिट मिलेगी सब्सिडी
प्रदेश सरकार ने 66 KV या उससे अधिक सप्लाई वोल्टेज पर चलने वाले उद्योगों को राहत देने का निर्णय लिया है, इन उद्योगों को नए वित्त वर्ष से बिजली की खपत पर 40 पैसे प्रति यूनिट सब्सिडी दी जाएगी. यह सब्सिडी साल में दो बार अक्टूबर और मार्च के महीने में DBT के माध्यम से दी जाएगी. बता दें कि सरकार ने पिछले वर्ष उद्योगों को एक रुपए प्रति यूनिट की दर से दी जाने वाली बिजली की सब्सिडी देने के फैसले को वापस ले लिया था.
15 हजार युवाओं को मिलेगा रोजगार
हिमाचल में वर्ष 2024-25 में 149 औद्योगिक प्रस्ताव को सैद्धांतिक मंजूरी प्रदान की गई है, जिसमें 3,084 करोड़ का निवेश किया जाएगा. जिससे प्रदेश में 15 हजार युवाओं को रोजगार मिलेगा. वहीं, प्रदेश सरकार हरित ऊर्जा, सौर ऊर्जा, दुग्ध उत्पादन व इलेक्ट्रिक व्हीकल जैसे क्षेत्रों में निवेश को आकर्षित करने के लिए अगले वित्त वर्ष में इन्वेस्टर आउटरीच प्रोग्राम आयोजित करेगी.
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