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मध्य प्रदेश का सबसे बड़ा सायबर फ्रॉड, रामकृष्ण मिशन आश्रम को बनाया निशाना - MP BIGGEST CYBER FRAUD

सायबर ठगों ने ग्वालियर में रामकृष्ण मिशन आश्रम के सचिव से ढाई करोड़ रुपये ठग लिए. मनी लांड्रिंग केस में फंसने की धमकी.

MP biggest cyber fraud
मध्यप्रदेश का सबसे बड़ा सायबर फ्रॉड (ETV BHARAT)
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By ETV Bharat Madhya Pradesh Team

Published : April 16, 2025 at 6:01 PM IST

2 Min Read

ग्वालियर: सायबर ठगों के लिए ग्वालियर सुरक्षित ठिकाना बनता जा रहा है. शहर में अक्सर ऑनलाइन ठगी की घटनाएं सामने आ रही हैं. ज्यादातर मामले अब भी डिजिटल अरेस्ट के होते हैं. 26 दिन तक डिजिटल अरेस्ट रहने के बाद पुलिस अधीक्षक के पास पहुचे ग्वालियर के रामकृष्ण मिशन आश्रम के सचिव स्वामी सुप्रदीप्तानंद ने भी ढाई करोड़ रुपये ठगे जाने की शिकायत की है. उनके साथ यह ठगी नरेश गोयल मनी लांड्रिंग केस में शामिल पाए जाने के नाम पर की गई.

वीडियो कॉल करके फंसाया जाल में

ग्वालियर के रामकृष्ण मिशन आश्रम के सचिव स्वामी सुप्रदीप्तानंद ने पुलिस को बताया "उन्हें 17 मार्च 2025 को दो अलग-अलग नंबर से कॉल किया गया. वीडियो कॉल में ठग नासिक पुलिस का अफ़सर बनकर बात कर रहा था. पीछे पुलिस का बोर्ड भी लगा हुआ था. आश्रम सचिव को ठगों ने नरेश गोयल मनी लांड्रिंग मामले में शामिल होना बताया. उन्हें डिजिटल अरेस्ट करने की बात कहते हुए उनके बैंक खाते सीज करने की धमकी दी गई. इस प्रकार 26 दिन में करीब ढाई करोड़ रुपये ट्रांसफर किए गए."

एडिशनल एसपी निरंजन शर्मा (ETV BHARAT)

कई खातों में ट्रांसफर कराई मोटी रकम

फरियादी स्वामी सुप्रदीप्तानंद के मुताबिक़ "ठगों द्वारा उन्हें बताया गया था कि उनके नाम से कैनरा बैंक में एक अकाउंट है, जिसके ज़रिए हवाला का 20 करोड़ का लेनदेन हुआ है. जिससे जुड़ी एक पीडीएफ भी उन्हेंं भेजी गई. सायबर ठगों ने उन्हें पूरी तरह डरा-धमकाकर झांसे में ले लिया. इसके बाद 26 दिन तक अलग अलग बैंक खातों में करीब 2 करोड़ 52 लाख रुपये जमा कराए गए. हालांकि उन्हें आश्वासन दिया गया था कि ये रकम उन्हें 15 अप्रैल तक रिटर्न कर दी जाएगी. लेकिन ऐसा नहीं हुआ. तब उन्हें अपने साथ हुई ठगी का अहसास हुआ.ठ

डिजिटल अरेस्ट नहीं, ऑनलाइन फ्रॉड

बुधवार को स्वामी सुप्रदीप्तानंद एसपी कार्यालय पहुंचे और शिकायत की. ग्वालियर क्राइम ब्रांच ने ऑनलाइन ठगी का मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है. हालांकि पुलिस का मानना है कि इस केस को डिजिटल अरेस्ट नहीं माना जा सकता, क्योंकि उन्हें हाउस अरेस्ट नहीं किया गया. इस बीच वह जान-पहचान वाले अन्य लोग मिलते रहे. एडिशनल एसपी निरंजन शर्मा ने इस मामले में कहा "ये ऑनलाइन फ्रॉड है. पुलिस जल्द ही कार्रवाई कर ठगों को दबोच लेगी."

ग्वालियर: सायबर ठगों के लिए ग्वालियर सुरक्षित ठिकाना बनता जा रहा है. शहर में अक्सर ऑनलाइन ठगी की घटनाएं सामने आ रही हैं. ज्यादातर मामले अब भी डिजिटल अरेस्ट के होते हैं. 26 दिन तक डिजिटल अरेस्ट रहने के बाद पुलिस अधीक्षक के पास पहुचे ग्वालियर के रामकृष्ण मिशन आश्रम के सचिव स्वामी सुप्रदीप्तानंद ने भी ढाई करोड़ रुपये ठगे जाने की शिकायत की है. उनके साथ यह ठगी नरेश गोयल मनी लांड्रिंग केस में शामिल पाए जाने के नाम पर की गई.

वीडियो कॉल करके फंसाया जाल में

ग्वालियर के रामकृष्ण मिशन आश्रम के सचिव स्वामी सुप्रदीप्तानंद ने पुलिस को बताया "उन्हें 17 मार्च 2025 को दो अलग-अलग नंबर से कॉल किया गया. वीडियो कॉल में ठग नासिक पुलिस का अफ़सर बनकर बात कर रहा था. पीछे पुलिस का बोर्ड भी लगा हुआ था. आश्रम सचिव को ठगों ने नरेश गोयल मनी लांड्रिंग मामले में शामिल होना बताया. उन्हें डिजिटल अरेस्ट करने की बात कहते हुए उनके बैंक खाते सीज करने की धमकी दी गई. इस प्रकार 26 दिन में करीब ढाई करोड़ रुपये ट्रांसफर किए गए."

एडिशनल एसपी निरंजन शर्मा (ETV BHARAT)

कई खातों में ट्रांसफर कराई मोटी रकम

फरियादी स्वामी सुप्रदीप्तानंद के मुताबिक़ "ठगों द्वारा उन्हें बताया गया था कि उनके नाम से कैनरा बैंक में एक अकाउंट है, जिसके ज़रिए हवाला का 20 करोड़ का लेनदेन हुआ है. जिससे जुड़ी एक पीडीएफ भी उन्हेंं भेजी गई. सायबर ठगों ने उन्हें पूरी तरह डरा-धमकाकर झांसे में ले लिया. इसके बाद 26 दिन तक अलग अलग बैंक खातों में करीब 2 करोड़ 52 लाख रुपये जमा कराए गए. हालांकि उन्हें आश्वासन दिया गया था कि ये रकम उन्हें 15 अप्रैल तक रिटर्न कर दी जाएगी. लेकिन ऐसा नहीं हुआ. तब उन्हें अपने साथ हुई ठगी का अहसास हुआ.ठ

डिजिटल अरेस्ट नहीं, ऑनलाइन फ्रॉड

बुधवार को स्वामी सुप्रदीप्तानंद एसपी कार्यालय पहुंचे और शिकायत की. ग्वालियर क्राइम ब्रांच ने ऑनलाइन ठगी का मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है. हालांकि पुलिस का मानना है कि इस केस को डिजिटल अरेस्ट नहीं माना जा सकता, क्योंकि उन्हें हाउस अरेस्ट नहीं किया गया. इस बीच वह जान-पहचान वाले अन्य लोग मिलते रहे. एडिशनल एसपी निरंजन शर्मा ने इस मामले में कहा "ये ऑनलाइन फ्रॉड है. पुलिस जल्द ही कार्रवाई कर ठगों को दबोच लेगी."

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