शिमला: हिमाचल की राजनीति का जाना-पहचाना चेहरा विद्या स्टोक्स बेशक अब सक्रिय राजनीति से दूर है, लेकिन उनकी पांच दशक की राजनीतिक यात्रा कई मायनों में शानदार रही है. ईमानदार छवि वाली इस राजनेता ने अपने कैबिनेट मंत्री के हर कार्यकाल में महज एक रुपए मासिक वेतन लिया. विद्या स्टोक्स ने कई चुनाव जीते और कई बार मंत्री रहीं. आज उनके 97वें जन्मदिन पर सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू सहित कैबिनेट मंत्री विक्रमादित्य सिंह व अन्यों ने बधाई दी है.
अपने बधाई संदेश में सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने उनके उत्तम स्वास्थ्य व दीर्घ आयु के लिए कामना की. कैबिनेट मंत्री विक्रमादित्य सिंह व अन्यों ने भी उन्हें जन्मदिन पर बधाई व शुभकामनाएं देते हुए उनके अच्छे स्वास्थ्य के लिए कामना की.
विद्या स्टोक्स लंबे समय तक हिमाचल में कांग्रेस की राजनीति में अहम चेहरा रही हैं. वर्ष 2017 के विधानसभा चुनाव में टिकट न मिलने के बाद से वे सक्रिय राजनीति से दूर हैं. विद्या स्टोक्स का जन्म 8 दिसंबर 1927 को हुआ था, वे आठ बार चुनाव जीत कर विधानसभा पहुंची. विद्या स्टोक्स वीरभद्र सिंह सरकार में कैबिनेट मंत्री रहीं. उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष का कार्यभार भी संभाला. वे 1974 से लेकर 2017 की अवधि के बीच पूरी तरह से चुनावी राजनीति में सक्रिय थीं. इस दौरान वे एक बार यानी 1993 में राकेश वर्मा से चुनाव हारी थीं.
इसके अलावा स्टोक्स ने 1974 के बाद 1982, 1985, 1990, 1998, 2003, 2007 व 2012 के चुनाव में जीत हासिल की. करीब 47 साल के राजनीतिक सफर में उन पर किसी तरह का कोई आरोप नहीं लगा. वे न तो टीए-डीए लेती थीं और न ही पूरा वेतन. सिर्फ टोकन के तौर पर एक रुपया मासिक वेतन लेती थीं. विद्या स्टोक्स इन दिनों शिमला में घर में ही रहती हैं और हर तरह की राजनीति से दूर हैं. विद्या स्टोक्स उस परिवार से आती हैं, जिन्होंने हिमाचल को सेब की सौगात दी. उनके ससुर सत्यानंद स्टोक्स अमेरिका से थे और वही हिमाचल के कोटगढ़ में सेब लाए थे. विद्या स्टोक्स के जन्म दिन पर कांग्रेस के अनेक कार्यकर्ताओं ने भी उन्हें बधाई व शुभकामनाएं दी हैं.
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