छिंदवाड़ा: इंपोर्ट-एक्सपोर्ट में कमीशन का लालच देकर ठगी का मामला सामने आया है. मर्चेंट नेवी के पूर्व कर्मचारी ने अपने ही दोस्त को करोड़ों की चपत लगाई. मामले की जानकारी मिलने पर पुलिस की टीम तुरंत दिल्ली पहुंची. जहां आरोपी हरविंदर गिल और लक्ष्य शर्मा को गिरफ्तार कर लिया गया है. आरोपियों के पास से कुछ फर्जी दस्तावेज और करीब 78 लाख के फर्जी चेक मिले हैं. आरोपियों के पीछे कोई और एंजेसी काम तो नहीं कर रही है, इसे लेकर पूछताछ की जा रही है.
मर्चेंट नेवी की नौकरी छोड़ हुआ बेरोजगार
कोतवाली थाना प्रभारी उमेश गोल्हानी ने बताया कि "छोटी बाजार के आशीष सोनी ने एक लिखित आवेदन दस्तावेजों के साथ धोखाधडी के संबंध में दिया था. आशीष सोनी 2011 से 2014 तक मर्चेंट नेवी में दोस्त हरविंदर गिल के साथ नौकरी करता था. 2014 में आशीष सोनी के पिता की अचानक मौत हो जाने के कारण वह नौकरी छोड़कर छिंदवाड़ा आ गया था. बेरोजगार होने के बाद आशीष सोनी ने रोजगार के लिए हरविंदर गिल और लक्ष्य शर्मा से संपर्क किया. हरविंदर गिल और लक्ष्य शर्मा ने आशीष सोनी को इंपोर्ट व एक्सपोर्ट बिजनेस में कमीशन का लालच दिया.
आरोपियों ने ठगे 2 करोड़ 61 लाख
थाना प्रभारी ने बताया कि आरोपियों ने आशीष से पैसे लेने के लिए सरकारी विभाग, सुप्रीम कोर्ट दिल्ली, इनकम टेक्स डिपार्टमेंट, आरबीआई, मिनिस्ट्री ऑफ फायनेंस, एफआईयू, एम.सी.ए., आई.सी.ए.आई., प्रवर्तन निदेशाालय एवं दूसरे विभाग के फर्जी लेटर बनाकर आशीष को उसके मोबाइल पर मेल व सोशल मीडिया के माध्यम से भेजे. 2014 से 2025 तक झांसा देकर हरविंदर गिल और लक्ष्य शर्मा ने आशीष शर्मा से 2 करोड़ 61 लाख रुपए ऐंठ लिए.
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ऑनलाइन गेम में हार गए पैसे
पुलिस ने शिकायत मिलने के बाद एक टीम दिल्ली भेजी. जहां से आरोपी हरविंदर गिल और लक्ष्य शर्मा को गिरफ्तार किया गया. आरोपी हरविंदर गिल व लक्ष्य शर्मा पर प्रथम दृष्टया धारा 318(4), 338, 336(3) भा.न्या.सं. का मामला दर्ज किया गया है. जब दोनों से पूछताछ की तो उन्होंने सरकारी विभाग के फर्जी दस्तावेज भेजकर राशी लेना कबूल किया है. आरोपियो के पास से भेजे गये कुटरचित दस्तावेज मोबाइल फोन व 78 लाख रुपए के भरे हुए चैक जब्त किए गए हैं. पुलिस ने बताया कि आरोपियों ने पूछताछ में यही भी बताया है कि जो पैसे उन्हें आशीष से आते थे, वह ऑनलाइन गेम में हार चुके हैं.