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कहानी कृष्णा नागर कीः टोक्यो पैरालंपिक व विश्व चैंपियनशिप में जीता गोल्ड, संघर्षों से जूझकर बनाया नया मुकाम - para badminton player Krishna Nagar

राजस्थान के पैरा बैडमिंटन खिलाड़ी कृष्णा नागर पेरिस पैरालंपिक खेलों में मेडल से चूक गए. हालांकि, टोक्यो पैरालंपिक और कई विश्व चैंपियनशिप प्रतियोगिताओं में उन्होंने गोल्ड जीता है. कृष्णा ने छोटे कद को अपनी कमजोरी न बनाकर ताकत बनाया. इस रिपोर्ट में जानिए राजस्थान के इस दमदार पैरालंपिक खिलाड़ी की कहानी.

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By ETV Bharat Sports Team

Published : Sep 6, 2024, 4:53 PM IST

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पैरा बैडमिंटन खिलाड़ी कृष्णा नागर (ETV Bharat Jaipur)

जयपुर : राजस्थान के पैरा बैडमिंटन खिलाड़ी कृष्णा नागर ने कई अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में मेडल जीतकर देश का ही नहीं बल्कि राजस्थान का नाम भी रोशन किया है. छोटे कद का यह दमदार खिलाड़ी टोक्यो पैरालंपिक खेलों में देश के लिए गोल्ड जीत चुका है, लेकिन पेरिस पैरालंपिक खेलों में मेडल से चूक गया. हालांकि, इससे पहले आयोजित वर्ल्ड चैंपियनशिप में कृष्णा ने देश को मेडल दिलाया है.

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पैरा बैडमिंटन खिलाड़ी कृष्णा नागर (ETV Bharat Jaipur)

कृष्णा को बचपन में उनके छोटे कद के कारण चिढ़ाया जाता था, लेकिन उन्होंने अपनी उपलब्धियों से इसका जवाब दिया. कृष्णा ने अपने छोटे कद को अपनी प्रगति में बाधा नहीं बनने दिया. बैडमिंटन से पहले कृष्णा ने कई खेलों में अपना हाथ आजमाया, लेकिन बैडमिंटन में उनका सफर 2017 के अंत में जयपुर के सवाई मानसिंह स्टेडियम से शुरू हुआ. राजस्थान बैडमिंटन एसोसिएशन के कोचिंग हेड अतुल गुप्ता का कहना है कि कृष्णा एक अद्भुत खिलाड़ी है और पेरिस पैरालंपिक खेलों से पहले उन्होंने वर्ल्ड चैंपियनशिप में भारत को कई मेडल दिलाए हैं.

इसे भी पढ़ें : हादसे में गंवाई कलाई, टोक्यो के बाद अब पेरिस पैरालंपिक में सुंदर ने गाड़ा सफलता का झंडा, जीता मेडल - Athlete Sundar Gurjar Success Story

आर्थिक स्थिति नहीं थी ठीक : टोक्यो पैरालंपिक खेलों में मेडल जीतने से पहले कृष्णा की आर्थिक स्थिति कुछ अच्छी नहीं थी, लेकिन कृष्णा और उसके माता-पिता ने आर्थिक स्थिति को कृष्णा के आड़े नहीं आने दिया और सभी तरह की सुविधाएं कृष्णा को उपलब्ध करवाई. जब टोक्यो पैरालंपिक खेलों में कृष्णा ने गोल्ड मेडल जीता तो पूरे देश में उसके चर्चे शुरू हो गए थे. यहां तक की पीएम नरेंद्र मोदी ने भी कृष्णा को बधाई दी थी. हालांकि एक दुर्घटना के दौरान कृष्णा ने अपनी मां को खो दिया.

बैडमिंटन में जीते कई मेडल : कृष्णा ने अपने बैडमिंटन का सफर वर्ष 2017 से शुरू किया था, लेकिन 2020 के टोक्यो पैरालंपिक खेलों में कृष्णा को नई पहचान मिली है. इसके बाद पटाया में आयोजित हुई वर्ल्ड चैंपियनशिप में कृष्णा ने गोल्ड जीता, जबकि बेसल में आयोजित मेंस डबल्स में कृष्णा ने सिल्वर मेडल अपने नाम किया. वहीं, मेंस सिंगल्स में ब्रॉन्ज मेडल जीता. इसके अलावा वर्ष 2022 में टोक्यो में आयोजित वर्ल्ड चैंपियनशिप में भी कृष्णा ने ब्रॉन्ज मेडल अपने नाम किया था और चाइना में आयोजित एशियन गेम्स में मेंस सिंगल्स में कृष्णा ने सिल्वर और डबल्स में ब्रॉन्ज मेडल जीता था.

जयपुर : राजस्थान के पैरा बैडमिंटन खिलाड़ी कृष्णा नागर ने कई अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में मेडल जीतकर देश का ही नहीं बल्कि राजस्थान का नाम भी रोशन किया है. छोटे कद का यह दमदार खिलाड़ी टोक्यो पैरालंपिक खेलों में देश के लिए गोल्ड जीत चुका है, लेकिन पेरिस पैरालंपिक खेलों में मेडल से चूक गया. हालांकि, इससे पहले आयोजित वर्ल्ड चैंपियनशिप में कृष्णा ने देश को मेडल दिलाया है.

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पैरा बैडमिंटन खिलाड़ी कृष्णा नागर (ETV Bharat Jaipur)

कृष्णा को बचपन में उनके छोटे कद के कारण चिढ़ाया जाता था, लेकिन उन्होंने अपनी उपलब्धियों से इसका जवाब दिया. कृष्णा ने अपने छोटे कद को अपनी प्रगति में बाधा नहीं बनने दिया. बैडमिंटन से पहले कृष्णा ने कई खेलों में अपना हाथ आजमाया, लेकिन बैडमिंटन में उनका सफर 2017 के अंत में जयपुर के सवाई मानसिंह स्टेडियम से शुरू हुआ. राजस्थान बैडमिंटन एसोसिएशन के कोचिंग हेड अतुल गुप्ता का कहना है कि कृष्णा एक अद्भुत खिलाड़ी है और पेरिस पैरालंपिक खेलों से पहले उन्होंने वर्ल्ड चैंपियनशिप में भारत को कई मेडल दिलाए हैं.

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आर्थिक स्थिति नहीं थी ठीक : टोक्यो पैरालंपिक खेलों में मेडल जीतने से पहले कृष्णा की आर्थिक स्थिति कुछ अच्छी नहीं थी, लेकिन कृष्णा और उसके माता-पिता ने आर्थिक स्थिति को कृष्णा के आड़े नहीं आने दिया और सभी तरह की सुविधाएं कृष्णा को उपलब्ध करवाई. जब टोक्यो पैरालंपिक खेलों में कृष्णा ने गोल्ड मेडल जीता तो पूरे देश में उसके चर्चे शुरू हो गए थे. यहां तक की पीएम नरेंद्र मोदी ने भी कृष्णा को बधाई दी थी. हालांकि एक दुर्घटना के दौरान कृष्णा ने अपनी मां को खो दिया.

बैडमिंटन में जीते कई मेडल : कृष्णा ने अपने बैडमिंटन का सफर वर्ष 2017 से शुरू किया था, लेकिन 2020 के टोक्यो पैरालंपिक खेलों में कृष्णा को नई पहचान मिली है. इसके बाद पटाया में आयोजित हुई वर्ल्ड चैंपियनशिप में कृष्णा ने गोल्ड जीता, जबकि बेसल में आयोजित मेंस डबल्स में कृष्णा ने सिल्वर मेडल अपने नाम किया. वहीं, मेंस सिंगल्स में ब्रॉन्ज मेडल जीता. इसके अलावा वर्ष 2022 में टोक्यो में आयोजित वर्ल्ड चैंपियनशिप में भी कृष्णा ने ब्रॉन्ज मेडल अपने नाम किया था और चाइना में आयोजित एशियन गेम्स में मेंस सिंगल्स में कृष्णा ने सिल्वर और डबल्स में ब्रॉन्ज मेडल जीता था.

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