नई दिल्ली: पेरिस ओलंपिक में भारत ने छह पदक जीते, जिसमें एक रजत और एक कांस्य शामिल हैं. अगर कोर्ट ऑफ आर्बिट्रेशन फॉर स्पोर्ट (CAS) विनेश फोगट के पक्ष में फैसला देता है तो यह संख्या बढ़कर सात हो सकती है. हालांकि, टोक्यो ओलंपिक की तुलना में भारत का प्रदर्शन कम रहा, जहां भारत ने एथलेटिक्स में एक स्वर्ण सहित कुल सात पदक जीते थे.
इस बार शुरुआत मनु भाकर ने दो पदक की बड़ी उम्मीदों के साथ की थी, लेकिन यह निराशाजनक रूप से समाप्त हुआ, जब रीतिका हुड्डा महिलाओं की 76 किलोग्राम कुश्ती के क्वार्टर फाइनल से बाहर हो गईं, जबकि स्कोर 1-1 से बराबर था. रीतिका की प्रतिद्वंद्वी ने अंतिम अंक स्कोर नियम के तहत क्वार्टर फाइनल मुकाबला जीत लिया था.
पेरिस ओलंपिक में भारत का प्रदर्शन और उससे जुड़ी कुछ अहम बातें
- मनु भाकर स्वतंत्रता के बाद से एक ही संस्करण में कई पदक जीतने वाली पहली भारतीय बनीं, नॉर्मन प्रिचर्ड ने भी 1900 में पेरिस में यह उपलब्धि हासिल की थी. मनु शूटिंग स्पर्धा में पदक जीतने वाली पहली महिला भी बनीं, जबकि 22 वर्षीय मनु और सरबजोत सिंह की मिश्रित टीम जोड़ी भारत के लिए ओलंपिक में पदक जीतने वाली पहली टीम थी.
- टोक्यो ओलंपिक की कांस्य पदक विजेता मीराबाई चानू नीरज चोपड़ा, मनु भाकर और हॉकी टीम के कई पदक जीतने वाले क्लब में शामिल हो सकती थीं, लेकिन अपने आखिरी प्रयास में 114 किग्रा (या बराबरी के लिए 1 किग्रा) उठाने में विफल रहने के कारण 2 किग्रा से पदक से चूक गईं.
- मनु भाकर-सरबजोत सिंह, स्वप्निल कुसाले, भारत की पुरुष हॉकी टीम, नीरज चोपड़ा और अमन सेहरावत ने भारत के छह पदकों में योगदान दिया. विनेश एक और (रजत) जोड़ सकती हैं.
- अर्जुन बाबूता, मीराबाई चानू, लक्ष्य सेन, अनंत जीत सिंह नरुका-माहेश्वरी चौहान की मिश्रित निशानेबाजी टीम और तीरंदाज अंकिता भक्त-धीरज बोम्मादेवरा सहित कुल छह एथलीट चौथे स्थान पर रहे और पदक से चूक गए.
- पेरिस ओलंपिक में भारत को कांस्य पदक दिलाने में हरमनप्रीत सिंह का अहम योगदान रहा. भारत द्वारा बनाए गए 15 गोलों में से 10 गोल कप्तान की स्टिक से आए. आठ पेनल्टी कॉर्नर और दो पेनल्टी स्ट्रोक के जरिए.
- 2012 के बाद पहली बार, यानी 12 साल में भारत ने निशानेबाजी में ओलंपिक पदक जीता था.
- मन सहरावत के पदक ने ओलंपिक में कुश्ती के योगदान की श्रृंखला को वर्ष 2008 से जारी रखा, जब सुशील कुमार ने रजत पदक जीता था. यह भारत का आठवां कुश्ती पदक है.
- पहलवान अमन सहरावत व्यक्तिगत स्पर्धा में ओलंपिक पदक जीतने वाले सबसे कम उम्र के भारतीय बन गए. इससे पहले सबसे कम उम्र की खिलाड़ी पीवी सिंधु थीं, जिनकी उम्र 21 साल, एक महीने और 14 दिन थी, जिन्होंने रियो 2016 ओलंपिक में रजत पदक जीता था.
- भारत ने 52 साल बाद ओलंपिक में ऑस्ट्रेलिया पर जीत दर्ज की, जब हॉकी टीम ने कंगारुओं को 3-2 से हराया. यह पहला मौका भी था जब भारत ने ऑस्ट्रेलिया को टर्फ पर हराया. एक और उल्लेखनीय उपलब्धि भारतीय हॉकी टीम की 1972 के बाद पहली बार लगातार दो ओलंपिक पदक जीतना थी.
- जापान की यूई सुसाकी ने कभी कोई अंतरराष्ट्रीय मुकाबला नहीं हारा था और अपने अभियान के पहले मैच में भारत की विनेश फोगट का सामना करने से पहले उनका स्कोर 82-0 था. भारतीय ने शुरुआती दौर में अपनी प्रतिद्वंद्वी को काफी आसानी से हराया, जिससे पेरिस ओलंपिक 2024 का सबसे बड़ा उलटफेर हुआ.
- विनेश फोगट, जिन्होंने मंगलवार को तीनों मुकाबले जीतकर फाइनल में जगह बनाई, लेकिन फाइनल की सुबह 100 ग्राम अधिक वजन पाया गया और उन्हें स्वर्ण पदक मुकाबले के लिए अयोग्य घोषित कर दिया गया.