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Explainer: अमेरिका-चीन-ट्रेड वार, आखिर चीन ने रेयर अर्थ मिनरल्स को कंट्रोल क्यों किया, जानें सबकुछ

चीन ने अमेरिका को चेतावनी दी है कि अगर ट्रंप 100फीसदी टैरिफ की धमकी वापस नहीं लेते हैं तो वह जवाबी कार्रवाई करेगा.

Why China controls rare earths
अमेरिका-चीन-ट्रेड वार (IANS)
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By ETV Bharat Hindi Team

Published : October 13, 2025 at 2:32 PM IST

8 Min Read
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हैदराबाद : अमेरिका-चीन-ट्रेड वार इस बार गहरा गया है. चीन ने ऐसी चाल चली है कि अमेरिका का गला सूखने लगा है. चीनी सामानों के आयात पर सौ फीसदी टैरिफ लगाने की घोषणा के महज कुछ दिनों बाद राष्ट्रपति ट्रंप के बोल नरम पड़ गए. उन्होंने चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग की तारीफ कर उन्हें सम्मानीय व्यक्ति कहा. वहीं, दूसरी ओर चीन के तेवर भी इस बार कुछ अलग हैं.

चीन ने रेयर अर्थ मटेरियल पर कंट्रोल लगाकर इस ट्रेड वार में अपनी पकड़ मजबूत बना रखा है. अब देखना ये है कि रेयर अर्थ कंट्रोल के पीछे चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग की मंशा क्या है. वह अमेरिका से क्या चाहते हैं? इसका खुलासा तो आने वाले वक्त में ही होगा. फिलहाल दोनों ट्रेड वार जारी है.

WHY CHINA CONTROLS RARE EARTHS
रेयर अर्थ मटेरियल पर चीन का कंट्रोल (ETV Bharat)

चीन ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा चीनी वस्तुओं पर लगाए गए नए टैरिफ को पाखंडपूर्ण करार दिया है. चीन ने रेयर अर्थ मिनरल्स के निर्यात पर अपने प्रतिबंधों का बचाव किया है जबकि अमेरिकी आयात पर अतिरिक्त टैरिफ लगाने से परहेज किया है.

चीन ने दी बड़ी चेतावनी

चीन ने कहा है कि अगर अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप चीनी आयात पर 100 फीसदी टैरिफ लगाने की अपनी धमकी पर खरे उतरते हैं तो वह वाशिंगटन के खिलाफ जवाबी कार्रवाई करेगा. चीन ने यह धमकी ट्रंप प्रशासन द्वारा उसके ऊपर 100 प्रतिशत टैरिफ लगाने की घोषणा के बाद दी.

चीन द्वारा कई रेयर अर्थ मटेरियलों पर एक्सपोर्ट कंट्रोल लागू करने के बाद ट्रंप भड़के. बढ़ते तनाव से व्यापार वार्ता में महीनों से चल रही प्रगति पटरी से उतरने का खतरा है. चीन पीछे हटने का कोई संकेत नहीं दिखा रहा है. वहीं अमेरिका से अपने दृष्टिकोण को तुरंत सुधारने और बातचीत में कड़ी मेहनत से हासिल की गई प्रगति को बनाए रखने का आग्रह किया है.

WHY CHINA CONTROLS RARE EARTHS
रेयर अर्थ मटेरियल पर चीन ने लगाया नियंत्रण (ETV Bharat)

अमेरिका विमान के पुर्जों पर निर्यात नियंत्रण लगा सकता

राष्ट्रपति ट्रंप ने यह भी कहा कि रेयर अर्थ मिनरल्स पर चीन द्वारा लगाए गए निर्यात प्रतिबंधों के जवाब में अमेरिका बोइंग विमान के पुर्जों पर निर्यात नियंत्रण लगा सकता है.

ठंडे पड़े ट्रंप के तेवर

चीन पर 100 प्रतिशत टैरिफ की घोषणा के कुछ दिनों बाद अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप के तेवर ठंड़े पड़ने लगे. एक बयान में उन्होंने कहा कि वह चीन को नुकसान नहीं पहुंचाना चाहते हैं बल्कि मदद करना चाहते हैं. उन्होंने चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग की तारीफ भी की. कहा कि वह सम्मानीय व्यक्ति हैं. बस उनके साथ एक खराब समय बीता है.

क्या अमेरिका के सामने झुकेगा चीन

चीन अमेरिका के टैरिफ दबाव में झुकने वालों में नहीं है. ऐसा पहले भी हुआ था. 9 अप्रैल को अमेरिका ने चीनी आयातों पर टैरिफ 84 प्रतिशत से बढ़ाकर 125 प्रतिशत कर दिया था. लेकिन बाद में अमेरिका को ही टैरिफ वापस लेना पड़ा. अब सवाल ये है कि ट्रंप और जिनपिंग के बीच डील के बाद अगर ट्रंप नरमी बरतते हैं तो क्या चीन रेयर अर्थ कंट्रोल को वापस लेगा ?

Why China controls rare earths
रेयर अर्थ मिनरल्स (ETV Bharat)

इससे भी बड़ी बात ये है कि क्या चीन रेयर अर्थ को लेकर अमेरिका के साथ कोई बड़ा सौदा करना चाहता है? क्योंकि इस बार अमेरिका और चीन के बीच पेच फंसा हुआ है. वहीं, चीन पहले से ये जानता है कि रेयर अर्थ कंट्रोल से अमेरिका भड़केगा, तो क्या फिर चीन ने जानबूझकर ऐसा किया.

इसके पीछे चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग की मंशा क्या है ये अब तक साफ नहीं हो पाया है. अमेरिका के पास रेयर अर्थ को लेकर चीन के अलावा दूसरा कोई विकल्प नहीं है. चीन ने भारत से साफ तौर से मना कर दिया है कि वह अमेरिका को रेयर अर्थ मिनरल्स नहीं देगा. इसी शर्त पर चीन भारत को रेयर अर्थ मटेरियल प्रदान करेगा.

सोयाबीन और रेयर अर्थ मटेरियल ने निकाल दी ट्रंप प्रशासन की हवा

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने टैरिफ का डंडा चलाकर पूरी दुनिया में हाहाकार मचा दिया. कई दोशों पर इसका बहुत बुरा असर पड़ा. वहीं, ट्रंप हर मंच पर कहते रहे हैं कि वह इस टैरिफ के बदौलत कई देशों के युद्ध विराम कराए. ट्रंप प्रशासन ने कुतर्क देकर भारत पर भी भारी भरकम टैरिफ लगाया.

हालांकि, इस टैरिफ के खेल में ट्रंप प्रशासन को अब जाकर बड़ा झटका लगा है. चीन ने ऐसी चाल चली है जिससे अमेरिका सकपका गया है. चीन ने पहले सोयाबीन वाला कार्ड खेलकर अमेरिका की नींद हराम की और अब रेयर अर्थ मटेरियल की चाल चली है.

WHY CHINA CONTROLS RARE EARTHS
रेयर अर्थ मटेरियल (ETV Bharat)

सोयाबीन वाला कार्ड

अमेरिका सबसे अधिक सोयाबीन का उत्पादक है. वहीं, चीन इसका सबसे बड़ा खरीददार था. लेकिन 2025 में चीन ने अमेरका से रत्ती भर भी सोयाबीन का आयात नहीं किया. रिपोर्ट के मुताबिक इससे अमेरिका को 12.7 अरब डॉलर का नुकसान हुआ. इससे अमेरिकी किसानों की कमर टूट गई.

रेयर अर्थ मटेरियल कंट्रोल से वैश्विक उद्योगों पर पड़ेगा भारी असर

रेयर अर्थ मटेरियल से वैश्विक उद्योगों और तकनीकी आपूर्ति श्रृंखलाओं पर काफी दबाव पड़ने की आशंका है. रोजमर्रा के इलेक्ट्रॉनिक्स, ऑटोमोबाइल से लेकर लड़ाकू विमानों तक, हर चीज के उत्पादन के लिए रेयर अर्थ मटेरियल का इस्तेमाल किया जाता है.

चीन 70 प्रतिशत रेयर अर्थ मटेरियल का उत्पादक है

जानकारी के अनुसार चीन करीब 70 प्रतिशत रेयर अर्थ मटेरियल का उत्पादन करता है. साथ ही 90 प्रतिशत से अधिक इसका रिफाइनिंग करता है. चीन का इस क्षेत्र में वर्चस्व है. ऐसे में इस कंट्रोल का जबर्दस्त दवाब अमेरिका पर पड़ेगा.

चीन भी पीछे हटने वाला नहीं है

मीडिया रिपोर्ट के अनुसार अगर अमेरिका अपने रुख में नरमी नहीं लाता है तो चीन भी पीछे हटने वाला नहीं है. अगर अमेरिका एकतरफा कार्रवाई जारी रखता है, तो चीन अपने वैध अधिकारों और हितों की रक्षा के लिए दृढ़ता से कदम उठाएगा.

शेयर बाजार को हुआ भारी नुकसान

दुनिया की दो सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं के बीच व्यापार तनाव में तेजी से वृद्धि ने शेयर बाजार को डुबो दिया है, जिससे निवेशकों और उद्योगों में खलबली मच गई है.

ट्रंप- जिनपिंग की बैठक पर संदेह

चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग और अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बीच दक्षिण कोरिया में एक बहुप्रतीक्षित बैठक होने की उम्मीद थी लेकिन अब इस बैठक पर संदेह है. इससे दोनों देशों के बीच चल रही व्यापार वार्ता में नई अनिश्चितता भी पैदा हो गई है. ट्रंप ने कहा कि चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग से मिलने की कोई जरूरत नहीं है, लेकिन उन्होंने मुलाकात की योजना रद्द भी नहीं की. दोनों नेताओं की अगली मुलाकात इसी महीने के अंत में दक्षिण कोरिया में एशिया-प्रशांत आर्थिक सहयोग मंच के इतर होने वाली है.

चीन ने अमेरिका को जिम्मेदार ठहराया

चीनी वाणिज्य मंत्रालय ने रेयर अर्थ मटेरियल पर नए नियमों को एक वैध कदम बताया और इस हालिया तनाव के लिए वाशिंगटन को जिम्मेदार ठहराया.

किन चीजों में इस्तेमाल होता है रेयर अर्थ मटेरियल

रेयर अर्थ मटेरियल का इस्तेमाल स्मार्टफोन से लेकर पवन टर्बाइन, एलईडी लाइट, टीवी, रोजमर्रा की तकनीकों में होता है. ये इलेक्ट्रिक वाहनों की बैटरियों, एमआरआई स्कैनर, कैंसर के इलाज के लिए भी बेहद जरूरी है. रेयर अर्थ अमेरिकी सेना के लिए भी जरूरी. इनका इस्तेमाल F-35 लड़ाकू विमानों, पनडुब्बियों, लेजरों, उपग्रहों, मिसाइलों और अन्य कई चीजों में किया जाता है.

रेयर अर्थ मटेरियल क्या है?

रेयर अर्थ मटेरियल 17 विशेष रासायनिक तत्वों का एक समूह है. वर्तमान समय में इसका बहुत अधिक महत्व है. इस मटेरियल को खोजना, शुद्ध करना बेहद मुश्कल और महंगा है. रेयर अर्थ मटेरियल पीरियोडिक टेबल में 17 केमिकल एलिमेंट का एक समूह है. इसमें सेरियम (Ce), डिस्प्रोसियम (Dy), एर्बियम (Er), यूरोपियम (Eu), गैडोलीनियम (Gd), होल्मियम (Ho), लैंटानम (La), ल्यूटेटियम (Lu), नियोडिमियम (Nd), प्रेजोडियम (Pr), प्रोमेथियम (Pm), सैमरियम (Sm), स्कैंडियम (Sc), टेरबियम (Tb), थ्यूलियम (Tm), यटरबियम (Yb), और यट्रियम (Y) शामिल है. सभी के केमिकल गुण समान होते हैं और वे चांदी के रंग के दिखाई देते हैं.

चीन ने अमेरिकी टैरिफ को दोहरा मानदंड करार दिया

चीन ने अमेरिकी टैरिफ को दोहरा मानदंड करार दिया. चीनी वाणिज्य मंत्रालय ने कहा कि उसके नए रेयर अर्थ मटेरियल कंट्रोल नियमों पर अमेरिका की प्रतिक्रिया उसके दोहरे मानदंडों को दर्शाती है. कहा गया कि लंबे समय से अमेरिका राष्ट्रीय सुरक्षा की अवधारणा को बढ़ा-चढ़ाकर पेश करता रहा है और निर्यात नियंत्रणों का दुरुपयोग करता रहा है.

साथ ही कहा कि चीन के खिलाफ भेदभावपूर्ण उपाय अपनाता रहा है. उन्होंने आगे कहा कि अमेरिकी निर्यात नियंत्रण सूची में 3,000 से अधिक वस्तुएँ शामिल हैं जबकि चीन की सूची में केवल 900 से अधिक वस्तुएँ शामिल हैं.