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जूनियर डॉक्टर्स बोले- हम काम पर लौटने के लिए तैयार, बस हमारी बात सुनी जाए - Kolkata Doctor Rape Murder Case

West Bengal Junior Doctors Front PC: सोमवार को दिल्ली के प्रेस क्लब में पश्चिम बंगाल जूनियर डॉक्टर फ्रंट के तहत वहां के डॉक्टरों ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित किया.इस दौरान डॉक्टर फ्रंट ने कहा कि हम इस मसले को पूरी तरह सुलझाने और काम पर लौटने के लिए तैयार हैं. बस हम चाहते हैं कि पश्चिम बंगाल सरकार हमारी बात सुने.

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By ETV Bharat Delhi Team

Published : Sep 16, 2024, 6:40 PM IST

पश्चिम बंगाल जूनियर डॉक्टर्स फ्रंट ने दिल्ली में की प्रेस कांफ्रेंस
पश्चिम बंगाल जूनियर डॉक्टर्स फ्रंट ने दिल्ली में की प्रेस कांफ्रेंस (INS के सौजन्य से)

नई दिल्ली: आरजी कर मेडिकल कॉलेज में ड्यूटी के दौरान रेप के बाद ट्रेनी डॉक्टर की हत्या के मामले को लेकर सोमवार को दिल्ली के प्रेस क्लब में पश्चिम बंगाल जूनियर डॉक्टर फ्रंट के बैनर तले डॉक्टरों ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की. इस दौरान डॉक्टरों ने कहा कि हम इस मसले को पूरी तरह सुलझाने के लिए तत्पर हैं. बस हम चाहते हैं कि पश्चिम बंगाल सरकार हमारी बात सुने. हमारी बस यही मांग है कि सरकार मुख्यमंत्री के साथ हमारी जो भी बातचीत हो, उसका मिनिट्स आफ मीटिंग हमें शेयर किया जाएं और उस पर तुरंत कार्रवाई हो. हम काम पर लौट के लिए तैयार हैं.

इस दौरान उनके साथ आरजी कर मेडिकल कॉलेज की जूनियर डॉक्टर अनीशा बसु की भी उपस्थिति रही. इस दौरान इन सभी डॉक्टरों ने आरोप लगाते हुए बताया कि किस तरह से वहां घटना के बाद सबूतों के साथ छेड़छाड़ की गई. पुलिस की किस तरह से मामले में लापरवाही बरतती रही. और किस तरह से मृतक डॉक्टर को न्याय दिलाने के लिए हम लोगों को संघर्ष करना पड़ रहा है. 9 अगस्त की घटना के बाद से लेकर अभी तक के पूरे घटनाक्रम को बताते हुए डॉक्टरों ने अपनी पांच मांगे भी प्रेस कांफ्रेंस के माध्यम से मीडिया के सामने रखी.

पश्चिम बंगाल के डॉक्टरों ने रखी अपनी ये पांच मांगें

  1. यह मामला राज्य सरकार से संबंधित नहीं है, लेकिन हम संबंधित अधिकारियों, सीबीआई और सर्वोच्च न्यायालय से जांच प्रक्रिया में तेजी लाने और अपराधियों को बिना किसी देरी के दंडित करने की मांग करते हैं.
  2. डीएमई, डीएचएस और स्वास्थ्य सचिव को हटाना क्योंकि अपराध स्थल के आसपास में निर्माण कार्य के आदेश में उनके हस्ताक्षर मौजूद हैं, जबकी उसे पूरी तरह से घेराबंदी की जानी चाहिए थी.
  3. अक्षम और लापरवाह पुलिस अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई. प्रशासनिक विफलता और साक्ष्य से छेड़छाड़ के लिए कोलकाता पुलिस आयुक्त विनीत गोयल को पद से हटाया जाए.
  4. सभी अस्पतालों और सरकारी स्वास्थ्य केंद्रों में उचित सुरक्षा और कार्यात्मक बुनियादी सुविधाओं की मांग.
  5. सरकारी स्वास्थ्य सेवा सुविधाओं के सभी पहलुओं में प्रचलित थ्रेट कल्चर को समाप्त करना.

ये भी पढ़ें : उषा उत्थुप ने कोलकाता प्रोटेस्ट पर रिलीज किया पावरफुल सॉन्ग 'जागो रे', सुनकर हो जाएंगे रोंगटे खड़े

ये भी पढ़ें : कोलकाता रेप-मर्डर मामले में CBI ने पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष और एसएचओ को किया गिरफ्तार

नई दिल्ली: आरजी कर मेडिकल कॉलेज में ड्यूटी के दौरान रेप के बाद ट्रेनी डॉक्टर की हत्या के मामले को लेकर सोमवार को दिल्ली के प्रेस क्लब में पश्चिम बंगाल जूनियर डॉक्टर फ्रंट के बैनर तले डॉक्टरों ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की. इस दौरान डॉक्टरों ने कहा कि हम इस मसले को पूरी तरह सुलझाने के लिए तत्पर हैं. बस हम चाहते हैं कि पश्चिम बंगाल सरकार हमारी बात सुने. हमारी बस यही मांग है कि सरकार मुख्यमंत्री के साथ हमारी जो भी बातचीत हो, उसका मिनिट्स आफ मीटिंग हमें शेयर किया जाएं और उस पर तुरंत कार्रवाई हो. हम काम पर लौट के लिए तैयार हैं.

इस दौरान उनके साथ आरजी कर मेडिकल कॉलेज की जूनियर डॉक्टर अनीशा बसु की भी उपस्थिति रही. इस दौरान इन सभी डॉक्टरों ने आरोप लगाते हुए बताया कि किस तरह से वहां घटना के बाद सबूतों के साथ छेड़छाड़ की गई. पुलिस की किस तरह से मामले में लापरवाही बरतती रही. और किस तरह से मृतक डॉक्टर को न्याय दिलाने के लिए हम लोगों को संघर्ष करना पड़ रहा है. 9 अगस्त की घटना के बाद से लेकर अभी तक के पूरे घटनाक्रम को बताते हुए डॉक्टरों ने अपनी पांच मांगे भी प्रेस कांफ्रेंस के माध्यम से मीडिया के सामने रखी.

पश्चिम बंगाल के डॉक्टरों ने रखी अपनी ये पांच मांगें

  1. यह मामला राज्य सरकार से संबंधित नहीं है, लेकिन हम संबंधित अधिकारियों, सीबीआई और सर्वोच्च न्यायालय से जांच प्रक्रिया में तेजी लाने और अपराधियों को बिना किसी देरी के दंडित करने की मांग करते हैं.
  2. डीएमई, डीएचएस और स्वास्थ्य सचिव को हटाना क्योंकि अपराध स्थल के आसपास में निर्माण कार्य के आदेश में उनके हस्ताक्षर मौजूद हैं, जबकी उसे पूरी तरह से घेराबंदी की जानी चाहिए थी.
  3. अक्षम और लापरवाह पुलिस अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई. प्रशासनिक विफलता और साक्ष्य से छेड़छाड़ के लिए कोलकाता पुलिस आयुक्त विनीत गोयल को पद से हटाया जाए.
  4. सभी अस्पतालों और सरकारी स्वास्थ्य केंद्रों में उचित सुरक्षा और कार्यात्मक बुनियादी सुविधाओं की मांग.
  5. सरकारी स्वास्थ्य सेवा सुविधाओं के सभी पहलुओं में प्रचलित थ्रेट कल्चर को समाप्त करना.

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