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पहलगाम आतंकी हमले का खौफ नहीं! कुछ निडर पर्यटक कश्मीर की खूबसूरत वादियों में खो जाने चाहते हैं - TOURISTS PLANNING FOR KASHMIR TRIP

सवाल है कि, पहलगाम आतंकी हमले के बाद कश्मीर में पर्यटक कितने सुरक्षित हैं. वैसे कुछ लोग हैं जो निडर टूरिस्ट हैं.

श्रीनगर में एक पर्यटक ट्यूलिप फूलों की तस्वीरें क्लिक करती हुईं, फाइल फोटो
श्रीनगर में एक पर्यटक ट्यूलिप फूलों की तस्वीरें क्लिक करती हुईं, फाइल फोटो (ANI)
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By Muhammad Zulqarnain Zulfi

Published : April 26, 2025 at 8:36 PM IST

Updated : April 26, 2025 at 9:47 PM IST

6 Min Read

श्रीनगर: जम्मू कश्मीर के पहलगाम में मंगलवार को हुए आतंकी हमले के बाद हजारों पर्यटक कश्मीर छोड़कर वापस जाने लगे हैं. वहीं, कई ऐसे निडर पर्यटक भी हैं, जो इस घटना के बावजूद घाटी में जाकर वादियों की सैर करने का मन बनाए हुए हैं.

वैसे जम्मू कश्मीर की सैर करने वाले निडर सैलानियों की संख्या कम है लेकिन उनकी अडिग भावना काफी प्रबल है. ये लोग किसी भी हाल में जम्मू कश्मीर की खुबसूरत वादियों को अपनी आंखों से निहारना चाहते हैं. वे डर के कारण कश्मीर की खूबसूरती को नहीं खोना चाहते. स्थानीय लोगों और सरकार से मिलने वाले सस्ते हवाई किराए और आश्वासन उन्हें अपनी योजनाओं को आगे बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित कर रहे हैं.

मुंबई के पवई इलाके के 34 साल के व्यवसायी आभीर छत्रे ने कहा कि वह और उनके दोस्त शुरू में स्कीइंग के लिए गुलमर्ग की सर्दियों की यात्रा की योजना बना रहे थे, लेकिन अब वे मौजूदा ऑफर का लाभ उठाने के लिए अपनी योजनाओं को तेजी से आगे बढ़ा रहे हैं.

छत्रे ने कहा, "फ्लाइट सर्च करते समय, हमने पाया कि अगर हम इस सप्ताह यात्रा करते हैं तो हवाई टिकट बहुत सस्ते हैं और इसलिए हम अब यात्रा करने का मन बना रहे हैं." पहलगाम आतंकी हमले से बेपरवाह, उन्होंने कहा "हमले कहीं भी हो सकते हैं... एक व्यक्ति कभी भी... कहीं भी मर सकता है. हमें खुद को सीमित क्यों रखना चाहिए और अपने सपनों को क्यों मारना चाहिए."

उन्होंने कहा, " मैंने दुख की इस घड़ी में फंसे पर्यटकों का समर्थन करने वाले कश्मीरियों के वीडियो देखे हैं. आप एक काली भेड़ के कारण पूरे झुंड को दोषी नहीं ठहरा सकते." इसी तरह, हरियाणा के करनाल की 36 वर्षीय प्रिया यादव ने कहा कि वह अपनी "लड़कियों के ग्रुप को कश्मीर की यात्रा के लिए तैयार कर रही हैं. यह जानने के बाद भी कि हमले में मारे गए लोगों में हरियाणा निवासी विनय नरवाल भी शामिल है. प्रिया यादव ने कहा, "यह चौंकाने वाला था, लेकिन हम हरियाणवी लड़ाकू हैं... हमें घबराना नहीं चाहिए.

प्रिया ने कहा, जब जम्मू-कश्मीर सरकार, केंद्र और स्थानीय लोग पर्यटकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए हर संभव प्रयास कर रहे हैं तो हमें आतंकवादियों के मिशन को सफल नहीं होने देना चाहिए." उन्होंने कहा कि भारी छूट वाले हवाई किराए ने उनके जम्मू कश्मीर की यात्रा करने के निर्णय को और भी आसान बना दिया है. उन्होंने कहा, "मुझे सरकार और कश्मीर के लोगों पर पूरा भरोसा है."

कश्मीर के लिए हवाई किराए में काफी गिरावट आई है जिससे कुछ पर्यटक आखिरी समय में टिकट बुक करने के लिए आकर्षित हुए हैं. 27 अप्रैल के लिए श्रीनगर के लिए एकतरफा किराया सामान्य से काफी कम है, दिल्ली की उड़ानों की कीमत 4,834 रुपये और मुंबई की उड़ानों की कीमत 4,873 रुपये है. हैदराबाद से यात्रा करने वाले यात्री 7,636 रुपये में बुकिंग कर सकते हैं, जबकि बेंगलुरु से उड़ान भरने वाले यात्रियों को लगभग 9,362 रुपये का किराया मिल रहा है.

3 मई (शनिवार) को वापसी का किराया भी उतना ही आकर्षक है. श्रीनगर से दिल्ली का किराया 5,263 रुपये और श्रीनगर से मुंबई का किराया 5,498 रुपये है. हैदराबाद वापस जाने वालों को करीब 7,849 रुपये और श्रीनगर से बेंगलुरु जाने वालों को करीब 9,522 रुपये देने होंगे. हालांकि, पर्यटन हितधारकों ने माना है कि आतंकी हमले का असर लंबे समय तक बना हुआ है.

ट्रैवल एजेंट्स एसोसिएशन ऑफ कश्मीर (TAAK) के पूर्व अध्यक्ष फारूक अहमद कथू ने कहा कि पूछताछ और बुकिंग में भारी गिरावट आई है. कथू ने कहा, "हम भारी गिरावट देख रहे हैं...80 प्रतिशत से अधिक बुकिंग रद्द हो गई हैं. अभी, वित्तीय चिंताएं की बात ही नहीं हो रही है... हमारी प्राथमिकता अतिथि सुरक्षा है."

उन्होंने कहा कि जो लोग अभी भी यात्रा की योजना बना रहे हैं, उनका मानना ​​है कि पहलगाम की घटना अलग-थलग थी और कहीं भी हो सकती है. उन्होंने कहा, "हमने हमेशा लोगों का खुले दिल से स्वागत किया है और हम ऐसा करना जारी रखेंगे. हमें उन लोगों से जानकारी भी मिल रही है जो कश्मीर और हमारी मेहमाननवाजी पर भरोसा करते हैं."

इस बीच, श्रीनगर हवाई अड्डे के आगमन के आंकड़े भी यात्रियों के मूड बयां कर रहे हैं. पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए आतंकी हमले के बाद श्रीनगर अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर आने वाले लोगों की संख्या में गिरावट आई है, लेकिन यह गिरावट उतनी नाटकीय नहीं है जितनी आशंका थी.

हालांकि पर्यटकों की संख्या में स्पष्ट रूप से कमी आई है, लेकिन हवाई अड्डे पर अभी भी बड़ी संख्या में यात्री आ रहे हैं. हमले के दो दिन बाद यानी 24 अप्रैल को श्रीनगर में 59 उड़ानों में 4,456 यात्री आए थे.

यह 23 अप्रैल को 56 उड़ानों में 6,561 यात्रियों की तुलना में स्पष्ट गिरावट थी. हालांकि, सबसे बड़ी तुलना हमले से पहले की संख्या से की जा सकती है. हमले के दिन यानी 22 अप्रैल को हवाई अड्डे पर 51 उड़ानों में 9,235 यात्री आए थे.

पिछले दिन यानी 21 अप्रैल को 52 उड़ानों में 9,640 यात्री आए थे जो पांच दिनों की अवधि में सबसे अधिक था. इस गिरावट के बावजूद, यात्रियों की संख्या में कमी कोई बहुत बड़ी गिरावट नहीं थी.

उदाहरण के लिए, 20 अप्रैल को, हमले से पहले और सप्ताहांत में पर्यटकों की आमद से पहले, श्रीनगर में मात्र 30 उड़ानों में 5,626 यात्री आए थे. यह संख्या 24 अप्रैल को हमले के बाद के स्तरों के बराबर है. इस बीच, प्रस्थान लगातार उच्च स्तर पर रहा, 24 अप्रैल को श्रीनगर से 11,380 यात्रियों ने उड़ान भरी, जो हमले के दिन दर्ज किए गए 9,905 प्रस्थानों से भी अधिक है.

24 अप्रैल को कुल यात्री आवागमन 118 उड़ानों में 15,836 था. वहीं, 22 अप्रैल को 19,140 और 21 अप्रैल को 19,641 से कम लेकिन 20 अप्रैल के कुल 11,406 यात्रियों की तुलना में, यातायात काफी ठीक ठाक बना हुआ है.

ये भी पढ़ें: पहलगाम हमले के बाद कश्मीर से जाने लगे पर्यटक, उमर बोले, दुश्मन का मकसद पूरा हो जाएगा

श्रीनगर: जम्मू कश्मीर के पहलगाम में मंगलवार को हुए आतंकी हमले के बाद हजारों पर्यटक कश्मीर छोड़कर वापस जाने लगे हैं. वहीं, कई ऐसे निडर पर्यटक भी हैं, जो इस घटना के बावजूद घाटी में जाकर वादियों की सैर करने का मन बनाए हुए हैं.

वैसे जम्मू कश्मीर की सैर करने वाले निडर सैलानियों की संख्या कम है लेकिन उनकी अडिग भावना काफी प्रबल है. ये लोग किसी भी हाल में जम्मू कश्मीर की खुबसूरत वादियों को अपनी आंखों से निहारना चाहते हैं. वे डर के कारण कश्मीर की खूबसूरती को नहीं खोना चाहते. स्थानीय लोगों और सरकार से मिलने वाले सस्ते हवाई किराए और आश्वासन उन्हें अपनी योजनाओं को आगे बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित कर रहे हैं.

मुंबई के पवई इलाके के 34 साल के व्यवसायी आभीर छत्रे ने कहा कि वह और उनके दोस्त शुरू में स्कीइंग के लिए गुलमर्ग की सर्दियों की यात्रा की योजना बना रहे थे, लेकिन अब वे मौजूदा ऑफर का लाभ उठाने के लिए अपनी योजनाओं को तेजी से आगे बढ़ा रहे हैं.

छत्रे ने कहा, "फ्लाइट सर्च करते समय, हमने पाया कि अगर हम इस सप्ताह यात्रा करते हैं तो हवाई टिकट बहुत सस्ते हैं और इसलिए हम अब यात्रा करने का मन बना रहे हैं." पहलगाम आतंकी हमले से बेपरवाह, उन्होंने कहा "हमले कहीं भी हो सकते हैं... एक व्यक्ति कभी भी... कहीं भी मर सकता है. हमें खुद को सीमित क्यों रखना चाहिए और अपने सपनों को क्यों मारना चाहिए."

उन्होंने कहा, " मैंने दुख की इस घड़ी में फंसे पर्यटकों का समर्थन करने वाले कश्मीरियों के वीडियो देखे हैं. आप एक काली भेड़ के कारण पूरे झुंड को दोषी नहीं ठहरा सकते." इसी तरह, हरियाणा के करनाल की 36 वर्षीय प्रिया यादव ने कहा कि वह अपनी "लड़कियों के ग्रुप को कश्मीर की यात्रा के लिए तैयार कर रही हैं. यह जानने के बाद भी कि हमले में मारे गए लोगों में हरियाणा निवासी विनय नरवाल भी शामिल है. प्रिया यादव ने कहा, "यह चौंकाने वाला था, लेकिन हम हरियाणवी लड़ाकू हैं... हमें घबराना नहीं चाहिए.

प्रिया ने कहा, जब जम्मू-कश्मीर सरकार, केंद्र और स्थानीय लोग पर्यटकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए हर संभव प्रयास कर रहे हैं तो हमें आतंकवादियों के मिशन को सफल नहीं होने देना चाहिए." उन्होंने कहा कि भारी छूट वाले हवाई किराए ने उनके जम्मू कश्मीर की यात्रा करने के निर्णय को और भी आसान बना दिया है. उन्होंने कहा, "मुझे सरकार और कश्मीर के लोगों पर पूरा भरोसा है."

कश्मीर के लिए हवाई किराए में काफी गिरावट आई है जिससे कुछ पर्यटक आखिरी समय में टिकट बुक करने के लिए आकर्षित हुए हैं. 27 अप्रैल के लिए श्रीनगर के लिए एकतरफा किराया सामान्य से काफी कम है, दिल्ली की उड़ानों की कीमत 4,834 रुपये और मुंबई की उड़ानों की कीमत 4,873 रुपये है. हैदराबाद से यात्रा करने वाले यात्री 7,636 रुपये में बुकिंग कर सकते हैं, जबकि बेंगलुरु से उड़ान भरने वाले यात्रियों को लगभग 9,362 रुपये का किराया मिल रहा है.

3 मई (शनिवार) को वापसी का किराया भी उतना ही आकर्षक है. श्रीनगर से दिल्ली का किराया 5,263 रुपये और श्रीनगर से मुंबई का किराया 5,498 रुपये है. हैदराबाद वापस जाने वालों को करीब 7,849 रुपये और श्रीनगर से बेंगलुरु जाने वालों को करीब 9,522 रुपये देने होंगे. हालांकि, पर्यटन हितधारकों ने माना है कि आतंकी हमले का असर लंबे समय तक बना हुआ है.

ट्रैवल एजेंट्स एसोसिएशन ऑफ कश्मीर (TAAK) के पूर्व अध्यक्ष फारूक अहमद कथू ने कहा कि पूछताछ और बुकिंग में भारी गिरावट आई है. कथू ने कहा, "हम भारी गिरावट देख रहे हैं...80 प्रतिशत से अधिक बुकिंग रद्द हो गई हैं. अभी, वित्तीय चिंताएं की बात ही नहीं हो रही है... हमारी प्राथमिकता अतिथि सुरक्षा है."

उन्होंने कहा कि जो लोग अभी भी यात्रा की योजना बना रहे हैं, उनका मानना ​​है कि पहलगाम की घटना अलग-थलग थी और कहीं भी हो सकती है. उन्होंने कहा, "हमने हमेशा लोगों का खुले दिल से स्वागत किया है और हम ऐसा करना जारी रखेंगे. हमें उन लोगों से जानकारी भी मिल रही है जो कश्मीर और हमारी मेहमाननवाजी पर भरोसा करते हैं."

इस बीच, श्रीनगर हवाई अड्डे के आगमन के आंकड़े भी यात्रियों के मूड बयां कर रहे हैं. पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए आतंकी हमले के बाद श्रीनगर अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर आने वाले लोगों की संख्या में गिरावट आई है, लेकिन यह गिरावट उतनी नाटकीय नहीं है जितनी आशंका थी.

हालांकि पर्यटकों की संख्या में स्पष्ट रूप से कमी आई है, लेकिन हवाई अड्डे पर अभी भी बड़ी संख्या में यात्री आ रहे हैं. हमले के दो दिन बाद यानी 24 अप्रैल को श्रीनगर में 59 उड़ानों में 4,456 यात्री आए थे.

यह 23 अप्रैल को 56 उड़ानों में 6,561 यात्रियों की तुलना में स्पष्ट गिरावट थी. हालांकि, सबसे बड़ी तुलना हमले से पहले की संख्या से की जा सकती है. हमले के दिन यानी 22 अप्रैल को हवाई अड्डे पर 51 उड़ानों में 9,235 यात्री आए थे.

पिछले दिन यानी 21 अप्रैल को 52 उड़ानों में 9,640 यात्री आए थे जो पांच दिनों की अवधि में सबसे अधिक था. इस गिरावट के बावजूद, यात्रियों की संख्या में कमी कोई बहुत बड़ी गिरावट नहीं थी.

उदाहरण के लिए, 20 अप्रैल को, हमले से पहले और सप्ताहांत में पर्यटकों की आमद से पहले, श्रीनगर में मात्र 30 उड़ानों में 5,626 यात्री आए थे. यह संख्या 24 अप्रैल को हमले के बाद के स्तरों के बराबर है. इस बीच, प्रस्थान लगातार उच्च स्तर पर रहा, 24 अप्रैल को श्रीनगर से 11,380 यात्रियों ने उड़ान भरी, जो हमले के दिन दर्ज किए गए 9,905 प्रस्थानों से भी अधिक है.

24 अप्रैल को कुल यात्री आवागमन 118 उड़ानों में 15,836 था. वहीं, 22 अप्रैल को 19,140 और 21 अप्रैल को 19,641 से कम लेकिन 20 अप्रैल के कुल 11,406 यात्रियों की तुलना में, यातायात काफी ठीक ठाक बना हुआ है.

ये भी पढ़ें: पहलगाम हमले के बाद कश्मीर से जाने लगे पर्यटक, उमर बोले, दुश्मन का मकसद पूरा हो जाएगा

Last Updated : April 26, 2025 at 9:47 PM IST
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