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बिहार चुनाव के लिए महागठबंधन में होगी इन 2 नए दलों की एंट्री! दलित-आदिवासी वोट बैंक को साधने का प्लान

हेमंत सोरेन और पशुपति पारस की पार्टी को महागठबंधन में एंट्री मिल सकती है. इसको लेकर घटक दलों के बीच बातचीत अंतिम दौर में है.

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महागबंधन में होगी दो नए दलों की एंट्री (ETV Bharat)
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By ETV Bharat Bihar Team

Published : July 14, 2025 at 3:12 PM IST

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पटना: बिहार विधानसभा चुनाव का काउंटडाउन चालू है. सीट शेयरिंग को लेकर इंडिया गठबंधन यानी महागठबंधन में बैठकों का दौर चल रहा है. शनिवार को पांचवें दौड़ की बैठक के बाद तेजस्वी यादव ने कहा कि जल्द ही सीटों का बंटवारा हो जाएगा. इस बीच पूर्व केंद्रीय मंत्री पशुपति पारस की राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी (आरएलजेपी) और झारखंड की सत्ताधारी झारखंड मुक्ति मोर्चा (जेएमएम) के भी गठबंधन में शामिल होने की चर्चा जोरों पर है.

इन 2 दलों को मिलेगी एंट्री?: महागठबंधन में अभी 6 दल शामिल हैं. इनमें आरजेडी, कांग्रेस, वीआईपी, सीपीआई, सीपीआईएम और सीपीआई माले शामिल हैं. एनडीए से नाता तोड़ने वाले पशुपति पारस भी तेजस्वी के साथ आना चाहते हैं, जबकि झारखंड में हेमंत सोरेन के नेतृत्व वाली सरकार में आरजेडी और कांग्रेस भी सहयोगी है. ऐसे में जेएमएम को भी साथ लाने की तैयारी है. हालांकि सीटों को लेकर दोनों दलों के साथ पेंच फंसा हुआ है.

पशुपति पारस और हेमंत सोरेन हो सकते हैं महागठबंधन के साथी (ETV Bharat)

महागठबंधन में आना चाहते हैं पारस?: 2024 लोकसभा चुनाव में राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी को एनडीए की तरफ से बिहार में एक भी सीट चुनाव लड़ने के लिए नहीं दिया गया. हालांकि पशुपति कुमार पारस ने ठीक चुनाव से पहले नरेंद्र मोदी मंत्रिमंडल से इस्तीफा दे दिया था लेकिन उन्होंने एनडीए के लिए कई सीटों पर प्रचार किया था. वहीं, इसी साल अंबेडकर जयंती के अवसर पर उन्होंने एनडीए से अलग होने का औपचारिक ऐलान कर दिया. उसी के बाद से उनके इंडिया गठबंधन में शामिल होने की चर्चा होने लगी.

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प्रिंस राज के साथ पशपति पारस (ETV Bharat)

लालू-तेजस्वी से कई बार मिले: पशुपति कुमार पारस ने खुलकर इंडिया गठबंधन में शामिल होने की इच्छा जताई है. रामविलास पासवान की जयंती के अवसर पर पशुपति कुमार पारस ने बहुत जल्द इंडिया गठबंधन में शामिल होने की बात भी कही थी. उस दिन उनकी नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव से मुलाकात भी हुई थी. जहां तेजस्वी ने पारस को अभिभावक बताया था. इससे पहले भी पारस कई बार लालू और तेजस्वी से मिल चुके हैं. हालांकि सीटों को लेकर सहमति नहीं बन पा रही है.

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पशपति पारस के साथ तेजस्वी यादव (ETV Bharat)

हेमंत भी चाहते हैं गठबंधन: झारखंड में हेमंत सोरेन के नेतृत्व में इंडिया गठबंधन की सरकार है. इस सरकार में राष्ट्रीय जनता दल भी कांग्रेस के साथ सहयोगी दल के रूप में शामिल है. हेमंत भी बिहार में इंडिया गठबंधन में शामिल होना चाहते हैं. झारखंड से सटे बांका और जमुई के इलाकों में कई विधानसभा क्षेत्र में आदिवासियों की संख्या अच्छी खासी है. यही कारण है कि झारखंड से सटे हुए विधानसभा क्षेत्र में झामुमो अपना प्रत्याशी भी उतारता रहा है.

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कल्पना सोरेन के साथ हेमंत सोरेन (ETV Bharat)

सीटों को लेकर पेंच बरकरार: बिहार सरकार के मंत्री सुमित सिंह पहली बार चकाई विधानसभा क्षेत्र से झामुमो के टिकट पर ही विधायक चुने गए थे. यही कारण है कि झारखंड मुक्ति मोर्चा भी बिहार में कुछ सीटों पर चुनाव लड़ना चाहता है. हेमंत सोरेन की पार्टी भी यहां इंडिया गठबंधन में शामिल होना चाह रही है लेकिन यहां भी सीट शेयरिंग को लेकर विवाद है. जिस वजह से महागठबंधन की बैठकों में नहीं बुलाया जा रहा है.

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हेमंत सोरेने के साथ तेजस्वी यादव (ETV Bharat)

किस दल का कितनी सीटों पर दावा?: बिहार विधानसभा में कुल 243 सीट है. महागठबंधन के 6 घटक दलों के बीच सीटों के बंटवारे को लेकर अभी तक कोई सहमति नहीं बन पाई. कांग्रेस 2020 सीट शेयरिंग के फार्मूले के आधार पर 70 सीटों पर दावा कर रही है. वही मुकेश साहनी की पार्टी 60 सीट, सीपीआईएमएल 40 और सीपीआई और सीपीएम दो दर्जन सीटों पर चुनाव लड़ने का दावा कर रही है. यही कारण है कि गठबंधन में सीटों के बंटवारे को लेकर अभी तक कोई सहमति नहीं बन पाई है.

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हेमंत सोरेने के साथ तेजस्वी और अन्य (ETV Bharat)

क्या था 2020 सीट शेयरिंग का फॉर्मूला?: 2020 में हुए बिहार विधानसभा चुनाव में महागठबंधन के 5 घटक दलों ने एक साथ चुनाव लड़ा था. 2020 विधानसभा चुनाव में आरजेडी, कांग्रेस, सीपीआईएमएल, सीपीआई और सीपीएम ने एक साथ मिलकर चुनाव लड़ा था. 243 सीटों वाली बिहार विधानसभा चुनाव के लिए जो सीट शेयरिंग का फार्मूला तय किया गया उसके अनुसार आरजेडी 144, कांग्रेस 70, सीपीएम को 4, सीपीआई को 6 और सीपीआई माले को 19 सीट दी गई थी.

क्या बोले आरएलजेपी प्रवक्ता?: राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता श्रवण कुमार अग्रवाल का कहना है कि उनके राष्ट्रीय अध्यक्ष पशुपति कुमार पारस लगातार बोल रहे हैं कि वह इंडिया गठबंधन के साथ जाएंगे, उनका लक्ष्य है कि बिहार से एनडीए की सरकार को हटाना है. खुद नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने 5 जुलाई को स्वर्गीय रामविलास पासवान की जयंती समारोह पर स्पष्ट कर दिया है कि पारस जी के साथ उनका पारिवारिक संबंध है.

"आरएलजेपी के इंडिया गठबंधन में शामिल करने को लेकर जल्द ही घोषणा हो जाएगी. इंडिया गठबंधन के घटक दलों के साथ रालोजपा का अंडरस्टैंडिंग बहुत अच्छा है. लोगों का एक ही लक्ष्य है बिहार में सामाजिक न्याय की सरकार बनाना"- श्रवण अग्रवाल- राष्ट्रीय प्रवक्ता, आरएलजेपी

गठबंधन में कोई दिक्कत नहीं: आरजेडी के प्रवक्ता एजाज अहमद का कहना है कि इंडिया गठबंधन के समन्वय समिति की बैठक में लगातार इस बात को लेकर चर्चा चल रही है. सभी दल इस बात को लेकर एकमत है कि बिहार में नफरत फैलाने वाली सरकार जो संवैधानिक शक्तियों को कमजोर कर रही है, इस डबल इंजन की सरकार के खिलाफ एकजुट होकर मैदान में जाएंगे. तेजस्वी यादव के हाथों को मजबूत करने के लिए सभी दल एकजुट हैं.

"पारस जी एवं झामुमो के मामले को लेकर इंडिया गठबंधन की कल की बैठक में भी चर्चा हुई है. इसको लेकर स्मूथली वार्ता हो रही है समय आने पर सब कुछ स्पष्ट हो जाएगा समय का इंतजार कीजिए. हम बिहार में ऐसी सरकार देंगे जो बिहार के लिए नजीर पेश करेगी"- एजाज अहमद, प्रवक्ता, राष्ट्रीय जनता दल

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बिहार महागठबंधन के नेता (ETV Bharat)

कोऑर्डिनेशन कमिटी करेगी निर्णय: कांग्रेस के प्रवक्ता राजेश राठौर का कहना है कि झारखंड मुक्ति मोर्चा इंडिया गठबंधन का सदस्य है. राष्ट्रीय परिपेक्ष में देखा जाए तो जेएमएम हमारा इंडिया एयरलाइंस का पार्टनर है, लेकिन राज्यों के परिपेक्ष में जहां क्षेत्रीय दल एवं कांग्रेस के बीच समन्वय कैसे बने इसको लेकर बिहार में इंडिया गठबंधन के कोऑर्डिनेटर एवं अन्य सदस्य तय करेंगे.

"इंडिया गठबंधन में यदि कोई अन्य दल शामिल होना चाहता है तो उसमें कोई दिक्कत नहीं लेकिन इसका फैसला बिहार में इंडिया गठबंधन को नेतृत्व करने वाले एवं सभी सहयोगी दल के बड़े नेता तय करेंगे."- राजेश राठौर, प्रवक्ता, कांग्रेस

क्या कहते हैं जानकार?: इंडिया गठबंधन में पशुपति कुमार पारस की पार्टी एवं झारखंड मुक्ति मोर्चा की एंट्री में हो रही देरी पर वरिष्ठ पत्रकार रवि उपाध्याय का कहना है कि आरएलजेपी और झामुमो की इंडिया गठबंधन में एंट्री तय है, क्योंकि इंडिया गठबंधन के 6 घटक दलों के बीच अभी खुद सीटों का बंटवारा तय नहीं हुआ है. यही कारण है कि इन दोनों दलों की एंट्री गठबंधन में नहीं हो पाई.

बहुत जल्द हो सकता है ऐलान: रवि उपाध्याय का कहना है कि पशुपति कुमार पारस के बहाने तेजस्वी यादव की नजर दलित वोट बैंक पर है. इसके अलावा सूरजभान सिंह की पकड़ भूमिहार बहुल मुंगेर, नवादा, बेगूसराय और लखीसराय इलाके में है, जिसका लाभ इंडिया गठबंधन को हो सकता है. इसीलिए आरएलजेपी की एंट्री इंडिया गठबंधन में बहुत जल्द हो जाएगी. जहां तक झामुमो का सवाल है तो उसके साथ राजद झारखंड में सरकार में शामिल है. झारखंड से सटे हुए इलाकों में एवं आदिवासी बहुल क्षेत्र में झामुमो चुनाव लड़ना चाहती है.

"पशुपति कुमार पारस लगभग एक दर्जन सीट एवं झामुमो तीन से चार सीट पर चुनाव लड़ने की मांग कर रहा है. जैसे ही इंडिया गठबंधन के घटक दलों के बीच सीटों के बंटवारा पर सहमति बन जाएगी, दोनों दलों की इंडिया गठबंधन में एंट्री हो जाएगी."- रवि उपाध्याय, वरिष्ठ पत्रकार

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