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सुकमा में 11 माओवादियों ने छोड़ा आतंक का रास्ता, बीजापुर में तीन नक्सलियों ने किया सरेंडर - Eleven Naxalites surrendered

बस्तर में एक बार फिर माओवादियों को तगड़ा झटका लगा है. एक इनामी नक्सली समेत 11 माओवादियों ने आज फोर्स के सामने हथियार डाल दिए. सरेंडर करने वालों में पांच महिला नक्सली भी शामिल हैं. बीजापुर में भी पुलिस के सामने तीन माओवादियों ने सरेंडर किया है. सरेंडर करने वाले दो माओवादियों पर आठ आठ लाख का इनाम था.

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By ETV Bharat Chhattisgarh Team

Published : Aug 9, 2024, 7:54 PM IST

Updated : Aug 9, 2024, 9:23 PM IST

five women Maoists surrendered in Sukma
11 माओवादियों ने छोड़ा आतंक का रास्ता (ETV Bharat)

सुकमा: एंटी नक्सल ऑपरेशन और नियद नेल्लानार योजना के तहत जवानों को लगातार बड़ी सफलताएं मिल रही हैं. शुक्रवार को 11 माओवादियों ने पुलिस के सामने हथियार डाल दिए. आतंक का रास्ता छोड़ने वालों में पांच महिला माओवादी भी शामिल हैं. 11 नक्सलियों में एक एक नक्सली पर सरकार ने 1 लाख का इनाम भी घोषित कर रखा था. नियद नेल्लानार योजना के तहत सभी समर्पण करने वाले नक्सलियों सरकार की पुनर्वास नीति का लाभ दिया जाएगा. बीजापुर में भी दो इनामी नक्सलियों सहित तीन माओवादियों ने आत्मसमर्पण कर दिया है.

माओवादियों को तगड़ा झटका (ETV Bharat)
बीजापुर में 3 नक्सलियों ने किया आत्मसमर्पण (ETV Bharat)

11 हार्डकोर माओवादियों ने किया सरेंडर: सरेंडर करने वाले सभी नक्सली लंबे वक्त से नक्सल संगठन से जुड़े रहे. सभी माओवादी सुकमा जिले में एक्टिव थे. लंबे वक्त से इन माओवादियों की तलाश पुलिस को थी. पूरे बस्तर में एंटी नक्सल ऑपरेशन चलाया जा रहा है. एंटी नक्सल ऑपरेशन के दौरान फोर्स जंगल के भीतर जाकर माओवादियों को घेर रही है.

''जिले में लगातार नक्सल विरोधी अभियान चलाया जा रहा है. सरकार की नियद नेल्लानार योनजा का फायदा अंदरूनी इलाके में रहने वाले लोगों तक पहुंचाया जा रहा है. भटके हुए माओवादियों से हम लगातार सरेंडर करने की अपील कर रहे हैं. सरकार की नई पुनर्वास नीति से प्रभावित होकर आज विश्व आदिवासी दिवस पर 11 माओवादियों ने सरेंडर किया है''. - निखिल राखेचा, एएसपी, सुकमा



सोढ़ी भीमे ने किया छोड़ा नक्सलियों का साथ: सरेंडर करने वालों में महिला माओवादी सोढ़ी भीमे भी शामिल है. सोढ़ी भीमे गोलापल्ली LOS सदस्य के रूप में सक्रिय थी. भीमे पर सरकार ने 1 लाख रुपये का इनाम घोषित किया था. सरेंडर करने वाले नक्सलियों में मड़कम देवे, माड़वी सन्ना, वेट्टी भीमा, वेक्को आयता, पोडियाम हूंगा, मड़कम सुक्की, ओयाम जोगी, दूधी हांदा, पदाम कोसी और मड़कामी बुधु शामिल हैं. सभी नक्सली नक्सल संगठन में अलग अलग इलाके में अलग अलग पद पर पदस्थ थे. सभी माओवादियों को जल्द ही नक्सलवाद उन्नमूलन नीति के तहत सहायता राशि और अन्य सुविधाएं शासन की ओर दी जाएंगी.

बीजापुर में तीन माओवादियों ने किया सरेंडर: बीजापुर जिले में चलाए जा रहे एंटी नक्सल ऑपरेशन के दौरान तीन माओवादियों ने सरेंडर कर दिया. सभी माओवादियों ने बीजापुर एसपी जितेंद्र कुमार यादव के सामने सरेंडर किया. सरेंडर करने वाले नक्सली सरकार की नई पुनर्वास नीति से प्रभावित हैं. सरेंडर करने वालों में रमेश फरसा भी शामिल है. फरसा पर सरकार ने आठ लाख का इनाम रखा था. फरसा पीएलजीए कंपनी नंबर दो में प्लाटून नंबर एक का सदस्य रहा है. नक्सली मनकी माड़वी उर्फ सरिता पर भी आठ लाख का इनाम था.

'नक्सली संगठन में होता है भेदभाव': सभी नक्सली लंबे वक्त से माओवादी वारदातों को अंजाम देने में शामिल रहे हैं. सरेंडर करने वाले माओवादियों का कहना था कि संगठन में उपेक्षा किए जाने और भेदभाव पूर्ण व्यवहार के चलते वो दुखी थे. नक्सलियों के द्वारा आम लोगों पर किए जा रहे अत्याचार से भी वो परेशान थे. सरकार की पुनर्वास नीति से प्रभावित होकर उन्होने सरेंडर किया.

लोन वर्राटू कैंपेन का बड़ा असर, दंतेवाड़ा में 6 नक्सलियों का सरेंडर, सुकमा में दो माओवादियों ने डाले हथियार - Lon Varratu effect in Bastar
बीजापुर में लाल आतंक का सरेंडर, शहीदी सप्ताह में नक्सलियों का खून खराबे से तौबा - Dreaded Naxalites surrender
नक्सलियों को जोर का झटका धीरे से, 19 लाख के इनामी माओवादियों ने छोड़े हथियार - Surrender of 5 rewarded Naxalites

सुकमा: एंटी नक्सल ऑपरेशन और नियद नेल्लानार योजना के तहत जवानों को लगातार बड़ी सफलताएं मिल रही हैं. शुक्रवार को 11 माओवादियों ने पुलिस के सामने हथियार डाल दिए. आतंक का रास्ता छोड़ने वालों में पांच महिला माओवादी भी शामिल हैं. 11 नक्सलियों में एक एक नक्सली पर सरकार ने 1 लाख का इनाम भी घोषित कर रखा था. नियद नेल्लानार योजना के तहत सभी समर्पण करने वाले नक्सलियों सरकार की पुनर्वास नीति का लाभ दिया जाएगा. बीजापुर में भी दो इनामी नक्सलियों सहित तीन माओवादियों ने आत्मसमर्पण कर दिया है.

माओवादियों को तगड़ा झटका (ETV Bharat)
बीजापुर में 3 नक्सलियों ने किया आत्मसमर्पण (ETV Bharat)

11 हार्डकोर माओवादियों ने किया सरेंडर: सरेंडर करने वाले सभी नक्सली लंबे वक्त से नक्सल संगठन से जुड़े रहे. सभी माओवादी सुकमा जिले में एक्टिव थे. लंबे वक्त से इन माओवादियों की तलाश पुलिस को थी. पूरे बस्तर में एंटी नक्सल ऑपरेशन चलाया जा रहा है. एंटी नक्सल ऑपरेशन के दौरान फोर्स जंगल के भीतर जाकर माओवादियों को घेर रही है.

''जिले में लगातार नक्सल विरोधी अभियान चलाया जा रहा है. सरकार की नियद नेल्लानार योनजा का फायदा अंदरूनी इलाके में रहने वाले लोगों तक पहुंचाया जा रहा है. भटके हुए माओवादियों से हम लगातार सरेंडर करने की अपील कर रहे हैं. सरकार की नई पुनर्वास नीति से प्रभावित होकर आज विश्व आदिवासी दिवस पर 11 माओवादियों ने सरेंडर किया है''. - निखिल राखेचा, एएसपी, सुकमा



सोढ़ी भीमे ने किया छोड़ा नक्सलियों का साथ: सरेंडर करने वालों में महिला माओवादी सोढ़ी भीमे भी शामिल है. सोढ़ी भीमे गोलापल्ली LOS सदस्य के रूप में सक्रिय थी. भीमे पर सरकार ने 1 लाख रुपये का इनाम घोषित किया था. सरेंडर करने वाले नक्सलियों में मड़कम देवे, माड़वी सन्ना, वेट्टी भीमा, वेक्को आयता, पोडियाम हूंगा, मड़कम सुक्की, ओयाम जोगी, दूधी हांदा, पदाम कोसी और मड़कामी बुधु शामिल हैं. सभी नक्सली नक्सल संगठन में अलग अलग इलाके में अलग अलग पद पर पदस्थ थे. सभी माओवादियों को जल्द ही नक्सलवाद उन्नमूलन नीति के तहत सहायता राशि और अन्य सुविधाएं शासन की ओर दी जाएंगी.

बीजापुर में तीन माओवादियों ने किया सरेंडर: बीजापुर जिले में चलाए जा रहे एंटी नक्सल ऑपरेशन के दौरान तीन माओवादियों ने सरेंडर कर दिया. सभी माओवादियों ने बीजापुर एसपी जितेंद्र कुमार यादव के सामने सरेंडर किया. सरेंडर करने वाले नक्सली सरकार की नई पुनर्वास नीति से प्रभावित हैं. सरेंडर करने वालों में रमेश फरसा भी शामिल है. फरसा पर सरकार ने आठ लाख का इनाम रखा था. फरसा पीएलजीए कंपनी नंबर दो में प्लाटून नंबर एक का सदस्य रहा है. नक्सली मनकी माड़वी उर्फ सरिता पर भी आठ लाख का इनाम था.

'नक्सली संगठन में होता है भेदभाव': सभी नक्सली लंबे वक्त से माओवादी वारदातों को अंजाम देने में शामिल रहे हैं. सरेंडर करने वाले माओवादियों का कहना था कि संगठन में उपेक्षा किए जाने और भेदभाव पूर्ण व्यवहार के चलते वो दुखी थे. नक्सलियों के द्वारा आम लोगों पर किए जा रहे अत्याचार से भी वो परेशान थे. सरकार की पुनर्वास नीति से प्रभावित होकर उन्होने सरेंडर किया.

लोन वर्राटू कैंपेन का बड़ा असर, दंतेवाड़ा में 6 नक्सलियों का सरेंडर, सुकमा में दो माओवादियों ने डाले हथियार - Lon Varratu effect in Bastar
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Last Updated : Aug 9, 2024, 9:23 PM IST
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