दिल्ली: कांग्रेस पार्टी ने वक्फ संशोधन विधेयक 2025 की संवैधानिकता को चुनौती देने के लिए सुप्रीम कोर्ट का रुख करने की घोषणा की है. कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने सोशल मीडिया पर एक बयान में कहा कि पार्टी जल्द ही सुप्रीम कोर्ट में विधेयक को चुनौती देगी.
यह कदम कांग्रेस द्वारा अदालत में कई कानूनों को चुनौती देने के प्रयासों का हिस्सा है, जिसमें नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) 2019, सूचना का अधिकार (आरटीआई) अधिनियम 2005 में संशोधन और चुनाव संचालन नियम (2024) में संशोधन शामिल हैं. पार्टी पूजा स्थल अधिनियम 1991 को बनाए रखने के लिए अदालत में भी हस्तक्षेप कर रही है.
Congress to challenge " constitutionality" of waqf bill in supreme court, says jairam ramesh
— ANI Digital (@ani_digital) April 4, 2025
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रमेश ने कहा कि सीएए, 2019 को लेकर कांग्रेस की चुनौती पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हो रही है. आरटीआई अधिनियम, 2005 में 2019 के संशोधनों को लेकर कांग्रेस की चुनौती पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हो रही है. चुनाव संचालन नियम (2024) में संशोधन की वैधता को लेकर कांग्रेस की चुनौती पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हो रही है. पूजा स्थल अधिनियम, 1991 की मूल भावना को बरकरार रखने के लिए कांग्रेस के हस्तक्षेप पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हो रही है. कांग्रेस बहुत जल्द वक्फ (संशोधन) विधेयक, 2024 की संवैधानिकता को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देगी."
रमेश ने कहा कि पार्टी कि भारत के संविधान में निहित सिद्धांतों, प्रावधानों और प्रथाओं पर मोदी सरकार के सभी हमलों का विरोध करना जारी रखेगी.
संसद ने शुक्रवार को लंबी बहस के बाद वक्फ संशोधन विधेयक 2025 पारित कर दिया. विधेयक में 1995 के अधिनियम में संशोधन करने और भारत में वक्फ संपत्तियों के प्रशासन और प्रबंधन में सुधार करने की मांग की गई है. विधेयक का उद्देश्य पिछले अधिनियम की कमियों को दूर करना, वक्फ बोर्डों की कार्यकुशलता बढ़ाना, पंजीकरण प्रक्रिया में सुधार करना और वक्फ रिकॉर्ड के प्रबंधन में प्रौद्योगिकी की भूमिका बढ़ाना है.
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