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जम्मू कश्मीर विधानसभा चुनाव 2024: सीमा पार नहीं कर सकेंगे आतंकी, BSF ने की तैयारी - Border Security Force

Jammu Kashmir Assembly Election 2024: जम्मू कश्मीर में बीएसएफ ने पुलिस समेत सहयोगी एजेंसियों के साथ मिलकर घुसपैठ रोधी सभी आवश्यक कदम उठाए हैं. इसको लेकर बीएसएफ के जम्मू फ्रंटियर के महानिरीक्षक डी के बूरा ने मीडिया से कहा कि बीएसएफ स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कराने में अपनी भूमिका निभाएगी.

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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Sep 10, 2024, 12:04 PM IST

बीएसएफ के जवान
बीएसएफ के जवान (ANI)

श्रीनगर: सीमा सुरक्षा बल (BSF) के एक टॉप अधिकारी ने मंगलवार को कहा कि आतंकवादी सीमा पार से घुसपैठ न कर सकें और जम्मू-कश्मीर में विधानसभा चुनाव में खलल न डाल सकें, यह सुनिश्चित करने के लिए कि बॉर्डर पर घुसपैठ रोधी उपाय किए गए हैं.

बीएसएफ के जम्मू फ्रंटियर के महानिरीक्षक डी के बूरा ने डोडा जिले के भद्रवाह इलाके में संवाददाताओं से बात करते हुए कहा कि इस इलाके में छह अन्य जिलों के साथ साउथ कश्मीर और जम्मू की चेनाब घाटी क्षेत्र के कुल 24 विधानसभा क्षेत्रों में 18 सितंबर को पहले चरण में मतदान होना है.

बीएसएफ ने उठाए घुसपैठ रोधी कदम
बीएसएफ अधिकारी ने कहा, "सीमाएं पूरी तरह सुरक्षित हैं क्योंकि बीएसएफ ने पुलिस समेत सहयोगी एजेंसियों के साथ मिलकर घुसपैठ रोधी सभी आवश्यक कदम उठाए हैं. मैं सभी को आश्वस्त करना चाहता हूं कि चुनाव प्रक्रिया के दौरान ऐसी किसी भी गतिविधि (सीमा पार से आतंकवादियों की घुसपैठ) को नहीं होने दिया जाएगा."

उन्होंने कहा कि बीएसएफ किसी भी स्थिति से निपटने में सक्षम है और स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कराने में अपनी भूमिका निभाएगी. बूरा ने कहा, "बीएसएफ एक सक्षम बल है और आप देखेंगे कि वे किसी भी तरह की स्थिति से निपट सकते हैं. वे अपना काम बहादुरी से करते हैं. बीएसएफ को यहां (चिनाब घाटी में) सुरक्षित चुनाव कराने के लिए तैनात किया गया है."

रणनीतिक तरीके से अपना काम कर रहे कमांडर
डोडा और किश्तवाड़ जिलों में हाल ही में हुई आतंकी घटनाओं का जिक्र करते हुए बीएसएफ अधिकारी ने कहा कि जमीनी स्तर पर मौजूद कमांडरों को कुछ घटनाओं की जानकारी है और वे पूरे इलाके को सुरक्षित करने के लिए रणनीतिक तरीके से अपना काम कर रहे हैं. मुझे उम्मीद है कि चुनाव के दौरान कोई अप्रिय घटना नहीं होगी.

इससे पहले बीएसएफ आईजी ने सुरक्षा बल के 20 कमांडिंग ऑफिर्स के साथ एक बैठक की थी और चुनाव सुरक्षा की समीक्षा की. फिलहाल कमांडो को यूनिट तीनों जिलों में तैनात हैं.

बीएसएफ अधिकारी ने कहा, "वे (आतंकवादी) बड़ी संख्या में नहीं हैं, लेकिन चूंकि क्षेत्र में विशाल वन क्षेत्र है, इसलिए उन्हें बचने का मौका मिल रहा है." उन्होंने अपने जवानों से सतर्क रहने और आतंकवादियों की किसी भी नापाक साजिश को विफल करने को कहा.

यह भी पढ़ें- जम्मू-कश्मीर चुनाव: दूसरे चरण के चुनावी मैदान में 239 उम्मीदवार, 27 ने लिया नामांकन वापस लिया

श्रीनगर: सीमा सुरक्षा बल (BSF) के एक टॉप अधिकारी ने मंगलवार को कहा कि आतंकवादी सीमा पार से घुसपैठ न कर सकें और जम्मू-कश्मीर में विधानसभा चुनाव में खलल न डाल सकें, यह सुनिश्चित करने के लिए कि बॉर्डर पर घुसपैठ रोधी उपाय किए गए हैं.

बीएसएफ के जम्मू फ्रंटियर के महानिरीक्षक डी के बूरा ने डोडा जिले के भद्रवाह इलाके में संवाददाताओं से बात करते हुए कहा कि इस इलाके में छह अन्य जिलों के साथ साउथ कश्मीर और जम्मू की चेनाब घाटी क्षेत्र के कुल 24 विधानसभा क्षेत्रों में 18 सितंबर को पहले चरण में मतदान होना है.

बीएसएफ ने उठाए घुसपैठ रोधी कदम
बीएसएफ अधिकारी ने कहा, "सीमाएं पूरी तरह सुरक्षित हैं क्योंकि बीएसएफ ने पुलिस समेत सहयोगी एजेंसियों के साथ मिलकर घुसपैठ रोधी सभी आवश्यक कदम उठाए हैं. मैं सभी को आश्वस्त करना चाहता हूं कि चुनाव प्रक्रिया के दौरान ऐसी किसी भी गतिविधि (सीमा पार से आतंकवादियों की घुसपैठ) को नहीं होने दिया जाएगा."

उन्होंने कहा कि बीएसएफ किसी भी स्थिति से निपटने में सक्षम है और स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कराने में अपनी भूमिका निभाएगी. बूरा ने कहा, "बीएसएफ एक सक्षम बल है और आप देखेंगे कि वे किसी भी तरह की स्थिति से निपट सकते हैं. वे अपना काम बहादुरी से करते हैं. बीएसएफ को यहां (चिनाब घाटी में) सुरक्षित चुनाव कराने के लिए तैनात किया गया है."

रणनीतिक तरीके से अपना काम कर रहे कमांडर
डोडा और किश्तवाड़ जिलों में हाल ही में हुई आतंकी घटनाओं का जिक्र करते हुए बीएसएफ अधिकारी ने कहा कि जमीनी स्तर पर मौजूद कमांडरों को कुछ घटनाओं की जानकारी है और वे पूरे इलाके को सुरक्षित करने के लिए रणनीतिक तरीके से अपना काम कर रहे हैं. मुझे उम्मीद है कि चुनाव के दौरान कोई अप्रिय घटना नहीं होगी.

इससे पहले बीएसएफ आईजी ने सुरक्षा बल के 20 कमांडिंग ऑफिर्स के साथ एक बैठक की थी और चुनाव सुरक्षा की समीक्षा की. फिलहाल कमांडो को यूनिट तीनों जिलों में तैनात हैं.

बीएसएफ अधिकारी ने कहा, "वे (आतंकवादी) बड़ी संख्या में नहीं हैं, लेकिन चूंकि क्षेत्र में विशाल वन क्षेत्र है, इसलिए उन्हें बचने का मौका मिल रहा है." उन्होंने अपने जवानों से सतर्क रहने और आतंकवादियों की किसी भी नापाक साजिश को विफल करने को कहा.

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