कोच्चि: केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने मंगलवार को कहा कि वक्फ अधिनियम में संशोधन मुस्लिम समुदाय को लक्षित करके नहीं किया गया है, बल्कि इसका उद्देश्य 'पिछली गलतियों' को सुधारना है. केरल के कोच्चि में आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए केंद्रीय अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री रिजिजू ने कहा कि केंद्र सरकार का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि भारत में किसी के लिए 'जबरन और एकतरफा' किसी की जमीन छीनने का कोई प्रावधान न हो.
केंद्रीय मंत्री रिजिजू ने कहा कि वक्फ कानून में संशोधन इसलिए किया गया है क्योंकि इसमें कुछ प्रावधानों ने 'वक्फ बोर्डों को अभूतपूर्व शक्ति और अधिकार' दिए हैं. उन्होंने कहा कि, यह कानून मुस्लिम समुदाय को लक्षित करके नहीं किया गया है. यह पिछली गलतियों को सुधारने के लिए है.
#WATCH | Kochi, Kerala | On the Waqf Act, Union Minister Kiren Rijiju says, " in the munambam case, the recourse available to the innocent fishermen is to approach the supreme court." https://t.co/5LyijtfpKG pic.twitter.com/KG8otvdZNe
— ANI (@ANI) April 15, 2025
प्रेस कॉन्फ्रेंस में केंद्रीय राज्य मंत्री जॉर्ज कुरियन और राज्य भाजपा अध्यक्ष राजीव चंद्रशेखर के साथ मौजूद रिजिजू ने कहा कि संशोधन के बाद, किसी भूमि को वक्फ संपत्ति के रूप में मनमाने ढंग से घोषित नहीं किया जा सकेगा.
किरेन रिजिजू का यह बयान अलग-अलग मुस्लिम समूहों द्वारा संशोधन के खिलाफ किए जा रहे विरोध प्रदर्शनों के बीच आया है. बता दें कि, पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद समेत कुछ हिस्सों में प्रदर्शन ने हिंसक रुप ले लिया है. बता दें कि, संसद द्वारा पारित वक्फ विधेयक को 5 अप्रैल को राष्ट्रपति की मंजूरी मिल गई. सत्तारूढ़ एनडीए ने अल्पसंख्यकों के लिए लाभकारी बताते हुए इस कानून का पुरजोर बचाव किया है, जबकि विपक्ष ने इसे 'मुस्लिम विरोधी' बताया है.
#WATCH | Kochi, Kerala | On Waqf Act, Union Minister Kiren Rijiju says, " i appeal to the muslims to not become vote bank of congress party and communist parties. once you become a vote bank, you are treated like a commodity...i had warned them (congress and left) not to treat any… pic.twitter.com/8YtogFZU6z
— ANI (@ANI) April 15, 2025
वक्फ संशोधन अधिनियम के खिलाफ वाईएसआरसीपी पहुंची सुप्रीम कोर्ट
दूसरी तरफ, आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी के नेतृत्व वाली वाईएसआरसीपी ने सोमवार को वक्फ (संशोधन) अधिनियम, 2025 की संवैधानिक वैधता को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट का रुख किया. वाईएसआरसीपी से पहले, भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (भाकपा) ने भी अपने महासचिव डी राजा के माध्यम से नए वक्फ कानून की वैधता को चुनौती देने वाली याचिका दायर की थी.
वकील महफूज अहसन नाजकी के माध्यम से दायर अपनी याचिका में वाईएसआरसीपी ने ‘गंभीर संवैधानिक उल्लंघन’ और ‘मुस्लिम समुदाय की चिंताओं को दूर करने में विफलता’ का हवाला दिया. याचिका में दावा किया गया कि यह अधिनियम संविधान के अनुच्छेद 13, 14, 25 और 26 का उल्लंघन करता है जो मौलिक अधिकारों, कानून के समक्ष समानता, धर्म की स्वतंत्रता और धार्मिक संप्रदायों को अपने मामलों का प्रबंधन करने की स्वायत्तता की गारंटी देते हैं.
वाईएसआरसीपी ने कहा कि संशोधित वक्फ कानून की धाराओं नौ और 14 के तहत गैर-मुस्लिम सदस्यों को शामिल करना मुस्लिम संस्थाओं के आंतरिक कामकाज में हस्तक्षेप के रूप में देखा जाता है.
वक्फ कानून पर भांगर में हिंसा की घटनाएं, मुर्शिदाबाद में शांति बनी रही
मुर्शिदाबाद में हिंसक विरोध प्रदर्शन के बीच पश्चिम बंगाल के दक्षिण 24 परगना जिले के भांगर इलाके में सोमवार को वक्फ (संशोधन) कानून के खिलाफ प्रदर्शन में हिंसा की घटनाएं हुईं. वहीं, पुलिस ने दावा किया कि मुर्शिदाबाद में कानून व्यवस्था की स्थिति काफी हद तक नियंत्रण में है.
इंडियन सेक्युलर फ्रंट (आईएसएफ) के समर्थकों की भांगर में पुलिस के साथ झड़प हुई, जिसमें कई लोग घायल हो गए. हिंसा के दौरान सार्वजनिक संपत्तियों को नुकसान पहुंचाया गया और कई पुलिस वाहनों को आग लगा दी गई. विपक्षी दलों ने आरोप लगाया कि पुलिस ने उग्र भीड़ को रोकने के लिए कोई कदम नहीं उठाया.
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